बांग्लादेश की अंतरिम सरकार के प्रधानमंत्री मोहम्मद यूनुस ने पहली बार अपनी नीति के बारे में भाषण दिया है. उनके भाषण से यह साफ हो जाता है कि वह अपने नेतृत्व में बांग्लादेश को किस दिशा में ले जाना चाहते हैं. अपने पहले नीतिगत भाषण में उन्होंने पड़ोसी देश से पैदा होने वाली समस्याओं के साथ-साथ देश की आर्थिक मजबूती पर भी जोर दिया.
मोहम्मद यूनुस ने रविवार को राजनयिक और संयुक्त राष्ट्र प्रतिनिधियों के सामने अपनी प्राथमिकताओं को रेखांकित किया और वादा किया कि उनकी सरकार बांग्लादेश में दस लाख से अधिक रोहिंग्या शरणार्थियों की मदद करना जारी रखेगी। इसके अलावा उन्होंने बांग्लादेश के कपड़ा कारोबार को जारी रखने की भी बात कही है.
विरोध प्रदर्शन से कपड़ा उद्योग पर असर
बांग्लादेश की पूर्व पीएम शेख हसीना की सरकार के पतन के बाद से तीन सप्ताह से अधिक समय से चल रहे विरोध प्रदर्शनों से बांग्लादेश का कपड़ा उद्योग बुरी तरह प्रभावित हुआ है। जिसके कारण बांग्लादेश से आयात करने वाले देश दूसरे देशों का रुख कर रहे हैं। मोहम्मद यूनुस ने कहा कि इसी तरह कपड़ा उद्योग को बड़ा व्यवसाय बनाया जाएगा और नुकसान पहुंचाने वालों की किसी भी कोशिश को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा.
बांग्लादेश में लगभग 3,500 कपड़ा कारखाने स्थित हैं। देश के निर्यात में कपड़ा कारोबार की हिस्सेदारी 85 फीसदी है. बांग्लादेश सालाना करीब 55 अरब डॉलर का कपड़ा निर्यात करता है, मृत प्रदर्शनकारियों को न्याय मिलेगा
यूनुस ने अपने पहले नीतिगत भाषण में मृतकों का जिक्र किया. उन्होंने कहा कि पिछले महीने हमारे हजारों छात्र और लोग शेख हसीना की क्रूर तानाशाही के खिलाफ उठ खड़े हुए थे. मैं उनकी मौत की जांच करने और न्याय दिलाने का वादा करता हूं।’ बता दें कि छात्रों के प्रदर्शन के दौरान पुलिस कार्रवाई में 450 से ज्यादा लोग मारे गए थे.