जितना अधिक आप अपने मस्तिष्क को व्यस्त रखेंगे, आप उतने ही अधिक समय तक जीवित रहेंगे; नहीं होगा डिमेंशिया का खतरा

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आज के समय में हर कोई लंबी और स्वस्थ जिंदगी जीना चाहता है। लेकिन क्या आप जानते हैं कि आपकी मस्तिष्क गतिविधि आपके जीवन की लंबाई और गुणवत्ता दोनों को प्रभावित कर सकती है? एक हालिया अध्ययन में पाया गया है कि अगर हम अपने दिमाग को सक्रिय और व्यस्त रखते हैं, तो न केवल हम लंबे समय तक जीवित रह सकते हैं, बल्कि हम डिमेंशिया जैसी गंभीर मानसिक बीमारियों के खतरे को भी कम कर सकते हैं।

विशेषज्ञों का मानना ​​है कि जब हमारा मस्तिष्क सक्रिय होता है, तो वह नई सूचनाओं को अवशोषित और संसाधित करता है। यह मस्तिष्क की कोशिकाओं के बीच नए संबंध बनाता है, जिससे मस्तिष्क की कार्यप्रणाली में सुधार होता है। दिमाग को व्यस्त रखने से उसकी कार्य क्षमता तो बढ़ती है, लेकिन उसकी उम्र बढ़ने की प्रक्रिया भी धीमी हो जाती है।

डिमेंशिया और सक्रिय मस्तिष्क 
डिमेंशिया एक गंभीर मानसिक बीमारी है जिसमें व्यक्ति की याददाश्त, सोचने की क्षमता और दैनिक कामकाज में गिरावट आने लगती है। अध्ययनों से पता चला है कि जो लोग जीवन भर खुद को मानसिक रूप से व्यस्त रखते हैं वे मनोभ्रंश विकसित होने से बच सकते हैं। मस्तिष्क को हर समय सक्रिय रखने से मस्तिष्क की संरचना और कार्यप्रणाली मजबूत होती है, जिससे वह रोगों से लड़ने में सक्षम हो जाता है।

अपने दिमाग को व्यस्त रखने के आसान तरीके
एक नया कौशल सीखें: एक नई भाषा या संगीत वाद्ययंत्र सीखने से आपका दिमाग सक्रिय रहता है।
पढ़ाई-लिखाई: नियमित पढ़ाई-लिखाई और मानसिक खेल खेलने से दिमाग मजबूत होता है।
सामाजिक गतिविधियों में भाग लेना: दोस्तों और परिवार के साथ समय बिताना और सामाजिक गतिविधियों में भाग लेना मस्तिष्क के लिए फायदेमंद होता है।