रांची, 26 सितंबर (हि.स.)। अपर न्यायायुक्त अमित शेखर की अदालत ने गुरुवार को दुष्कर्म के बाद जगनी देवी की गला दबा कर हत्या करने के आरोपित महादेव दास को साक्ष्य के अभाव में रिहा कर दिया। मामला जगन्नाथपुर थाना क्षेत्र का साल 2023 के अप्रैल माह का है। मामले के अनुसंधानकर्ता (आईओ) दारोगा रामजी ने गवाही नहीं दी, जिसके कारण आरोपित रिहा हो गया।
दारोगा रामजी को अदालत ने कई बार गैर जमानती वारंट भी जारी किया था। इसके बाद भी दारोगा मामले में गवाही देने नहीं पहुंचा। मामले में सुनवाई के दौरान सुचक रंजीत कुमार, मृतका के दो पुत्रों और डॉक्टर की गवाही दर्ज करायी गयी थी लेकिन सबसे महत्वपूर्ण गवाह केस के आइओ ने गवाही नहीं दी, जिसका लाभ आरोपित को मिला।
घटना छह अप्रैल, 2023 की है। जगन्नाथपुर थाना क्षेत्र के एक सुनसान जगह पर जगनी देवी का शव मिला था। पोस्टमार्टम रिपोर्ट में दुष्कर्म के बाद महिला की गला दबा कर हत्या की बात सामने आया था। इसी क्रम में पुलिस ने महादेव दास को गिरफ्तार किया था। उसने पुलिस को बताया था कि महिला से उसका पहले से जान पहचान था। घटना के दिन हटिया रेलवे लाइन के समीप एक सुनसान जगह पर ले जाकर आरोपित ने महिला को पहले शराब पिलाया उसके बाद उसके साथ दुष्कर्म किया। दुष्कर्म का विरोध करने पर आरोपी महादेव दास ने महिला का गला दबाकर हत्या कर दिया था। मामले में उसका नाम आने के बाद पुलिस उसे गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था। उसी समय से आरोपित जेल में था।