Baloda Bazar : अस्पताल के ऑपरेशन थियेटर का सच देख कांप जाएंगे आप, 12वीं पास लड़का कर रहा था सर्जरी
News India Live, Digital Desk : हम डॉक्टर्स को 'भगवान का दूसरा रूप' मानते हैं। जब हमारा कोई अपना बीमार होता है, तो हम अपनी सारी जमा-पूंजी और मरीज की जान उनके भरोसे छोड़ देते हैं। लेकिन, अगर आपको पता चले कि जिस डॉक्टर के हाथों में आपने अपनी जान सौंपी है, वो डॉक्टर ही नहीं बल्कि सिर्फ 12वीं पास (12th Pass) एक लड़का है, तो क्या होगा?
छत्तीसगढ़ के बलौदाबाजार (Baloda Bazar) से एक ऐसा ही मामला सामने आया है, जिसे सुनकर आपके पैरों तले जमीन खिसक जाएगी। यहाँ के एक तथाकथित 'हाई-टेक' अस्पताल में मरीजों की जान के साथ जो खिलवाड़ हो रहा था, उसे देखकर प्रशासन भी हैरान है।
ऑपरेशन थियेटर में मिला 'नकली' डॉक्टर
दरअसल, स्वास्थ्य विभाग को शिकायत मिली थी कि बलौदाबाजार के एक प्राइवेट अस्पताल में गड़बड़ चल रही है। जब अधिकारियों की टीम वहां छापा मारने (Raid) पहुंची, तो उन्होंने देखा कि ऑपरेशन थियेटर (OT) के अंदर एक सर्जरी चल रही थी।
अधिकारियों ने जब ऑपरेशन कर रहे 'डॉक्टर साहब' से उनकी डिग्री मांगी, तो वो हक्के-बक्के रह गए। पता चला कि वो कोई एमबीबीएस या एमएस डॉक्टर नहीं, बल्कि एक मामूली 12वीं पास युवक है। जी हाँ, एक ऐसा इंसान जिसके पास मेडिकल की कोई बेसिक जानकारी भी नहीं है, वो लोगों के पेट काटकर उनका ऑपरेशन कर रहा था।
'हाईटेक' नाम, काम जानलेवा
मजे की बात यह है कि इस अस्पताल ने अपने नाम के आगे बड़े-बड़े अक्षरों में 'मल्टीस्पेशलिटी' और 'हाईटेक' लिख रखा था। बाहर से चकाचक दिखने वाली बिल्डिंग के अंदर मौत का यह काला कारोबार चल रहा था। यह सोचना भी डरावना है कि न जाने कितने मरीजों की जिंदगी इस अस्पताल ने खतरे में डाली होगी।
प्रशासन की कार्रवाई
रंगे हाथों पकड़े जाने के बाद प्रशासन ने तुरंत कार्रवाई शुरू कर दी है।
- अस्पताल सील: स्वास्थ्य विभाग ने उस 'फर्जी' सर्जन को पकड़ने के साथ-साथ अस्पताल पर भी ताला जड़ने की तैयारी कर ली है।
- नोटिस जारी: अस्पताल प्रबंधन से जवाब माँगा गया है कि आखिर किसके इशारे पर एक अनक्वालिफाइड इंसान को सर्जरी करने की इजाजत दी गई।
हमारी सलाह (Friendly Advice)
दोस्तों, यह घटना हम सब के लिए एक बहुत बड़ा सबक है।
- जब भी किसी हॉस्पिटल में जाएं, तो बिल्डिंग की चमक-धमक पर न जाएं।
- इलाज शुरू करवाने से पहले डॉक्टर का नाम, उनकी डिग्री और रजिस्ट्रेशन नंबर जरूर चेक कर लें।
- अगर कहीं भी शक हो, तो तुरंत इसकी शिकायत सीएमओ (CMO) या पुलिस से करें।
जान है तो जहान है, इसलिए इलाज के मामले में आंखें खुली रखना बहुत जरुरी है। इस फर्जीवाड़े से बचकर रहें!
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