बस्तर में बहुत बड़ी कामयाबी 25 लाख के उस खूंखार नक्सली ने टेके घुटने, जिससे कभी कांपते थे जंगल

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News India Live, Digital Desk: हम सब जानते हैं कि बस्तर का इलाका सालों से नक्सलवाद की आग में झुलस रहा है। वहां से अक्सर गोलियों और धमाकों की खबरें आती हैं। लेकिन आज, वहां से शांति की एक ऐसी हवा चली है जिसने सुरक्षाबलों का हौसला सातवें आसमान पर पहुंचा दिया है।

सुरक्षाबलों को एक बड़ी 'मछली' हाथ लगी है। नहीं-नहीं, कोई गिरफ्तारी नहीं हुई है, बल्कि नक्सलियों के एक बड़े कमांडर ने खुद हार मानकर कानून का रास्ता अपना लिया है। हम बात कर रहे हैं 25 लाख के इनामी नक्सली चैतु (Chaitu) की।

कौन है ये चैतु और क्यों थी इसकी तलाश?

सोचिए, किसी के सिर पर सरकार ने 25 लाख रुपये का इनाम रखा हो, तो वो कोई छोटा-मोटा अपराधी नहीं होगा। पुलिस रिकॉर्ड के मुताबिक, चैतु नक्सलियों का वो चेहरा था जिसका बस्तर के जंगलों में खौफ चलता था। वह कई बड़ी घटनाओं में शामिल रहा है और संगठन में उसका कद काफी ऊंचा था।

इतने बड़े कमांडर का यूं सरेंडर करना, नक्सलियों के लिए किसी झटके से कम नहीं है। यह सुरक्षाबलों की उस रणनीति की जीत है, जिसमें वो लगातार दबाव भी बना रहे हैं और भटक चुके युवाओं को मुख्यधारा में लौटने का मौका भी दे रहे हैं।

क्यों डाल दिए हथियार?

अक्सर हम सुनते हैं कि बड़े नक्सली लीडर आलीशान जिंदगी जीते हैं, लेकिन छोटे कैडर और जमीनी कमांडर्स को जंगल की कठिन जिंदगी से अब मोहभंग होने लगा है। चैतु ने भी जब पुलिस और सुरक्षाबलों के सामने सरेंडर किया, तो यह साफ संदेश गया कि 'हिंसा से कुछ हासिल नहीं होने वाला'।

इसके अलावा, सरकार की नक्सल पुनर्वास नीति (Rehabilitation Policy) का भी इसमें बड़ा हाथ माना जा रहा है। सरेंडर करने वालों को सरकार अब नया जीवन शुरू करने के लिए आर्थिक मदद और सुरक्षा दे रही है, जो जंगल में भटक रहे नक्सलियों को अपनी ओर खींच रहा है।

बस्तर के लिए अच्छे संकेत

दोस्तों, 25 लाख के इनामी का मुख्यधारा में लौटना बताता है कि नक्सली संगठन अब अंदर से कमजोर हो रहा है। जब टॉप लीडरशिप ही साथ छोड़ने लगे, तो नीचे के कैडर का मनोबल टूटना तय है। यह बस्तर की शांति के लिए एक शुभ संकेत है।

उम्मीद है कि चैतु को देखकर जंगल में छिपे अन्य भटके हुए युवा भी हिंसा का रास्ता छोड़ेंगे और अपने परिवार के पास लौटेंगे। आखिरकार, शांति में ही सबका भला है।

इस बड़ी कामयाबी पर आप हमारे सुरक्षाबलों को क्या कहना चाहेंगे? कमेंट में 'जय हिंद' लिखकर उनका हौसला जरूर बढ़ाएं!

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