Rajasthan crime : रात को दोस्तों संग की मस्ती, सुबह फंदे पर लटका मिला 9वीं का छात्र, झुंझुनूं में हॉस्टल में हड़कंप
News India Live, Digital Desk: राजस्थान के झुंझुनूं जिले के सूरजगढ़ इलाके से एक बेहद दुखद और हैरान करने वाली घटना सामने आई है. यहां एक प्राइवेट स्कूल के हॉस्टल में रह रहे 9वीं कक्षा के एक छात्र ने फांसी लगाकर अपनी जान दे दी. सबसे चौंकाने वाली बात यह है कि घटना से ठीक एक रात पहले तक छात्र बिल्कुल सामान्य था और उसने अपने दोस्तों के साथ हंसी-मजाक भी किया था. सुबह जब उसका दोस्त उसे जगाने पहुंचा, तो उसे फंदे से लटका देख उसके होश उड़ गए.
घटना की सूचना मिलते ही स्कूल और हॉस्टल में हड़कंप मच गया और मौके पर पहुंची पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है.
क्या है पूरा मामला?
यह दर्दनाक घटना सूरजगढ़ के महपालवास स्थित एक निजी स्कूल के हॉस्टल की है. मृतक छात्र की पहचान 16 वर्षीय गौरव कुमार के रूप में हुई है, जो हरियाणा के भिवानी जिले के सिंघाना गांव का रहने वाला था और यहां 9वीं कक्षा में पढ़ाई कर रहा था.
पुलिस के अनुसार, गौरव अपने तीन अन्य दोस्तों के साथ हॉस्टल के एक ही कमरे में रहता था. रविवार रात को करीब 10 बजे तक सभी दोस्तों ने एक साथ पढ़ाई की और फिर काफी देर तक हंसी-मजाक करते रहे. इसके बाद सब सोने चले गए. सोमवार सुबह जब उसका एक दोस्त उसे जगाने के लिए उठा, तो उसने कमरे का दरवाजा अंदर से बंद पाया.
उसने खिड़की से झांककर देखा तो अंदर का मंजर देखकर उसके पैरों तले जमीन खिसक गई. गौरव अपने बेड की चादर का फंदा बनाकर खिड़की के रोशनदान से लटका हुआ था.
क्या पढ़ाई का दबाव बना कारण?
घबराए हुए दोस्त ने तुरंत हॉस्टल वार्डन और स्कूल मैनेजमेंट को इसकी सूचना दी. मौके पर पहुंची पुलिस ने शव को नीचे उतरवाया और पोस्टमार्टम के लिए सरकारी अस्पताल भिजवाया. पुलिस ने मृतक छात्र के परिवार वालों को भी इस दुखद घटना की सूचना दे दी ਹੈ.
सूरजगढ़ थाने के एएसआई सुनील कुमार ने बताया कि अभी तक आत्महत्या के कारणों का पता नहीं चल पाया ਹੈ. मौके से कोई सुसाइड नोट भी नहीं मिला है. पहली नजर में मामला सुसाइड का ही लग रहा है, लेकिन पुलिस हर एंगल से इसकी जांच कर रही है. दोस्तों के मुताबिक, गौरव के व्यवहार में ऐसा कुछ भी नहीं लगा था, जिससे यह अंदेशा हो कि वह इतना बड़ा कदम उठा सकता ਹੈ. हालांकि, पुलिस इस बात की भी जांच कर रही है कि कहीं बच्चा पढ़ाई के दबाव या किसी और निजी कारण से परेशान तो नहीं था.
इस घटना ने एक बार फिर हॉस्टल में रह रहे बच्चों की मानसिक सेहत को लेकर गंभीर सवाल खड़े कर दिए
--Advertisement--