शुगर बढ़ने से परेशान हैं? ये 5 योगासन पैंक्रियाज को जगाकर कंट्रोल करेंगे डायबिटीज
News India Live, Digital Desk : डायबिटीज यानी मधुमेह, एक ऐसी बीमारी है जो आजकल घर-घर में आम हो गई है। यह सिर्फ ब्लड शुगर ही नहीं बढ़ाती, बल्कि धीरे-धीरे शरीर के दूसरे अंगों पर भी असर डालना शुरू कर देती है। जो लोग इस बीमारी से जूझ रहे हैं, वे जानते हैं कि दवाइयों के साथ-साथ एक अच्छी जीवनशैली अपनाना कितना जरूरी है। इसमें योग एक बहुत बड़ी और असरदार भूमिका निभा सकता है।
योग सिर्फ शरीर को लचीला ही नहीं बनाता, बल्कि शरीर के अंदरूनी अंगों को भी एक्टिव करता है। डायबिटीज के मामले में कुछ खास योगासन ऐसे हैं जो सीधे पैंक्रियाज (अग्न्याशय) पर काम करते हैं। पैंक्रियाज ही वह अंग है जो इंसुलिन बनाता है और जब यह ठीक से काम नहीं करता, तो शुगर की समस्या होती है। आइए जानते हैं ऐसे 5 योगासनों के बारे में जो डायबिटीज को कंट्रोल करने में किसी रामबाण से कम नहीं हैं।
1. मंडूकासन (मेंढक जैसी मुद्रा)
यह आसन डायबिटीज के लिए सबसे बेहतरीन माना जाता है। जब आप इस आसन को करते हैं, तो आपके पेट और पैंक्रियाज पर दबाव पड़ता है। इस दबाव से पैंक्रियाज उत्तेजित होता है और वहां से इंसुलिन का स्राव बेहतर होने लगता है।
- कैसे करें: वज्रासन में बैठें, मुट्ठी बनाकर नाभि के पास रखें और सांस छोड़ते हुए आगे की ओर झुकें।
2. धनुरासन (धनुष जैसी मुद्रा)
इस आसन से भी पेट के अंगों की अच्छी मालिश होती है। यह पाचन तंत्र को सुधारता है और पैंक्रियाज सहित सभी अंगों को सक्रिय करने में मदद करता है।
- कैसे करें: पेट के बल लेटकर, घुटनों को मोड़ें और अपने हाथों से टखनों को पकड़कर शरीर को ऊपर की ओर धनुष के आकार में उठाएं।
3. पश्चिमोत्तानासन (आगे झुकने की मुद्रा)
यह आसन न केवल पेट की मांसपेशियों को टोन करता है बल्कि यह पैंक्रियाज को भी सक्रिय करता है। इसके नियमित अभ्यास से ब्लड शुगर को कंट्रोल करने में मदद मिलती है।
- कैसे करें: पैरों को सीधा फैलाकर बैठें और सांस छोड़ते हुए धीरे-धीरे आगे की ओर झुककर अपने पैर के अंगूठों को पकड़ने की कोशिश करें।
4. कपालभाति (सांस की क्रिया)
हालांकि यह एक प्राणायाम है, लेकिन डायबिटीज में यह बेहद फायदेमंद है। कपालभाति करने से पूरे शरीर में रक्त संचार बेहतर होता है और सभी अंग एक्टिव होते हैं। यह पैंक्रियाज को स्वस्थ रखने में भी मदद करता है।
- कैसे करें: सीधे बैठकर, तेजी से अपनी सांस को नाक से बाहर फेंकें। पेट अपने आप अंदर-बाहर होगा।
5. हलासन (हल जैसी मुद्रा)
यह आसन पूरे शरीर को फायदा पहुंचाता है। यह थायराइड ग्रंथि से लेकर पैंक्रियाज तक को उत्तेजित करता है, जिससे हार्मोनल संतुलन बना रहता है और ब्लड शुगर को नियंत्रित करने में मदद मिलती है।
- कैसे करें: पीठ के बल लेटकर, धीरे-धीरे अपने दोनों पैरों को सिर के पीछे जमीन से छूने की कोशिश करें।
एक जरूरी बात: किसी भी योगासन को शुरू करने से पहले किसी विशेषज्ञ की सलाह जरूर लें। अगर आप शुरुआत कर रहे हैं, तो धीरे-धीरे अभ्यास करें और अपने शरीर पर ज्यादा जोर न डालें।
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