राजस्थान में कड़ाके की सर्दी का टॉर्चर, क्या जयपुर वाले भी कल सुबह ठिठुरने वाले हैं?

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News India Live, Digital Desk: अगर आप आज सुबह राजस्थान में सोकर उठे हैं, तो यकीनन सबसे पहला ख्याल यही आया होगा "इतनी ठंड!" जी हां, आज 26 दिसंबर है और राजस्थान की सर्दी ने अपना वो रंग दिखाया है जिसे देख कश्मीर और शिमला की याद आ जाए। खासतौर पर शेखावाटी और राजधानी जयपुर के जो हाल हैं, वो घर की खिड़कियों से देखने में तो अच्छे लग सकते हैं, लेकिन बाहर निकलने वालों के लिए ये किसी बड़ी परीक्षा से कम नहीं है।

सीकर में खेतों में जमी 'बर्फ की चादर'
सबसे ज्यादा रोंगटे खड़े कर देने वाला मंजर सीकर (Sikar) से सामने आया है। यहाँ के फतेहपुर इलाके में तापमान शून्य या उसके भी नीचे लुढ़कने लगा है। आज सुबह जब किसान अपने खेतों में पहुँचे, तो उनकी फसलें बर्फ की सफेद चादर से ढकी हुई थीं। इसे हम स्थानीय भाषा में 'पाले' का गिरना कहते हैं, जो फसलों के लिए किसी दुश्मन से कम नहीं है। बाल्टी में रखा पानी हो या गाड़ियों के शीशे, हर जगह बर्फ की पतली परत साफ़ दिखाई दे रही है। ऐसा लग रहा है मानो शेखावाटी की मिट्टी आज सड़कों पर नहीं, बल्कि फ्रिज के अंदर है।

जयपुर की ठंडी हवाएं और थमती रफ़्तार
वहीं राजधानी जयपुर की बात करें, तो गुलाबी नगर का रंग आज थोड़ा फीका नज़र आया क्योंकि शहर को घने कोहरे ने अपनी गिरफ्त में ले लिया है। पारे में भारी गिरावट (Temperature Drop in Jaipur) के कारण सड़कों पर सुबह 10 बजे तक गाड़ियाँ अपनी हेडलाइट जलाकर रेंग रही थीं। कलाई की घड़ी में टाइम तो भाग रहा है, लेकिन सर्दी ने रफ़्तार को जैसे ब्रेक लगा दिए हैं। लोग सुबह-सुबह अलाव जलाकर अपने हाथों को सेकते हुए दिख रहे हैं क्योंकि इस समय 'चाय की चुस्की' ही एकमात्र सहारा महसूस हो रही है।

मौसम विभाग का 'यलो अलर्ट' और आपकी सेहत
भारतीय मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने राजस्थान के कई जिलों के लिए कोल्ड वेव (Cold Wave Alert) जारी किया है। आने वाले 24 से 48 घंटे बेहद संवेदनशील बताए जा रहे हैं। ये ठंड सिर्फ़ फसलों के लिए ही नहीं, बल्कि इंसानों के लिए भी संभलकर रहने का वक्त है। डॉक्टरों का कहना है कि अचानक गिरा तापमान शरीर के ब्लड प्रेशर और हार्ट हेल्थ को प्रभावित कर सकता है, इसलिए गर्म कपड़ों के मामले में कोई समझौता न करें।

क्या आगे भी बढ़ेगा ये कहर?
मौसम विशेषज्ञों की मानें तो उत्तरी पहाड़ों से आने वाली बर्फीली हवाओं का रुख अभी राजस्थान की तरफ ही है। इसका मतलब साफ़ है—सर्दी अभी अपने 'पीक' पर पहुँच रही है। अगर आप घूमने की प्लानिंग कर रहे हैं या ऑफिस जाने वाले हैं, तो मफलर, जैकेट और ग्लव्स साथ रखें।

राजस्थान की ये ठंड सुहानी तब लगती है जब आप धूप में बैठे हों, लेकिन इन बर्फीली हवाओं के बीच सावधान रहना ही सबसे बड़ी समझदारी है। सीकर की उस जमी हुई ओस ने साफ़ कर दिया है कि साल 2025 का अंत किसी ऐतिहासिक कड़कड़ाती सर्दी के साथ होने जा रहा है।

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