पुलिसकर्मी की हत्या करने के जुर्म में चार को उम्रकैद

नई दिल्ली, 16 अप्रैल (हि.स.)। दिल्ली के तीस हजारी कोर्ट ने 2012 में जीबी रोड पर एक वेश्यालय के सामने एक पुलिसकर्मी की चाकू घोपकर हत्या करने और दो को घायल करने के मामले में चार लोगों को उम्रकैद की सजा मुकर्रर की है। एडिशनल सेशंस जज वीरेंद्र कुमार खर्ता ने ये आदेश दिया।

कोर्ट ने दो मार्च को इन आरोपितों को दोषी करार दिया था। कोर्ट ने जिन आरोपितों को दोषी करार दिया था, उनमें आशीष बहुगुणा, सूरज, मनोज और अक्षय शामिल हैं। कोर्ट ने कहा था कि घायल कांस्टेबल संदीप और इरशाद और शिकायतकर्ता हेड कांस्टेबल बलजीत के बयान भरोसे के लायक हैं और ये साबित करने में सफल हैं कि आरोपित दोषी हैं। दिल्ली पुलिस ने इस मामले में 6 दिसंबर 2012 को चार्जशीट दाखिल की थी। कोर्ट ने 20 जुलाई 2013 को चार्जशीट पर संज्ञान लिया था।

घटना 10 और 11 सितंबर 2012 की दरम्यानी रात के 12 और सवा 12 बजे के बीच की है। उस रात जीबी रोड पर एक वेश्यालय के सामने चारों आरोपितों ने कांस्टेबल बिजेंद्र को गंभीर रूप से घायल कर दिया। बिजेंद्र के अलावा आरोपितों ने दो आरोपितों ने कांस्टेबल संदीप और इरशाद पर भी चाकूओं से वार कर घायल कर दिया। बिजेंद्र की बाद में मौत हो गई। घटना के बाद दिल्ली पुलिस ने कमला नगर पुलिस थाने में भारतीय दंड संहिता की धारा 302, 307, 186, 353, 333 और 34 और आर्म्स एक्ट की धारा 25 के तहत एफआईआर दर्ज किया। दिल्ली पुलिस की ओर से वकील पंकज कुमार रंगा जबकि आरोपितों की ओर से वकील शुभम शुक्ला, एसएस त्रिपाठी ने दलीलें रखी थीं।