अमेरिका के 50% टैरिफ पर भारत की बेहद सख्त जवाबी रणनीति! थरूर बोले, हमें भी बराबर टैक्स लगाना चाहिए

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क्या अमेरिका भारत को व्यापार में दबा सकता है? अब नहीं! जिस देश से भारत की रणनीतिक साझेदारी रही है, वहीं अमेरिका ने अचानक 50 फीसदी टैरिफ लगाकर भारतीय निर्यातकों की मुश्किलें बढ़ा दी हैं। इसी मुद्दे पर आज केंद्र सरकार संसद की स्थायी समिति को विस्तार से जानकारी देने वाली है, जिसकी अध्यक्षता शशि थरूर कर रहे हैं.

सरकार के दो बड़े मंत्रालय–विदेश मंत्रालय और वाणिज्य मंत्रालय–आज शाम 4 बजे इस समिति को अमेरिका-भारत व्यापार विवाद और विदेशी नीति के हालिया घटनाक्रमों पर ब्रीफ करेंगे।

शशि थरूर का सख्त संदेश

समिति के चेयरमैन शशि थरूर ने कहा कि हालात गंभीर हैं: जिस देश के साथ हमारी करीबी थी, अब वही अपनी नीति बदल देता है तो हमें बहुत सी बातों पर फिर से सोचने की जरूरत है। आने वाले दो-तीन हफ्तों में बातचीत जरुरी है, लेकिन सबसे बड़ी बात–हम अपने हितों का ध्यान रखेंगे।

थरूर ने साफ कहा, “इससे impact तो होगा, हमारा $90 बिलियन का व्यापार है। यदि हर चीज 50% महंगी हो जाती है तो विदेशी खरीदार आखिर क्यों भारतीय चीजें लें? अगर अमेरिका ऐसा करता है, तो हमें भी अमेरिकी सामानों पर 50% टैक्स लगा देना चाहिए। कोई देश हमें धमका नहीं सकता।”

अमेरिका खफा क्यों?

ये टैरिफ सीधे अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के executive order से आए हैं, वजह बताया गया- राष्ट्रीय सुरक्षा और विदेश नीति, उस पर खासतौर से भारत का रूस से तेल खरीदना विवाद का कारण बना। भारत सरकार की प्रतिक्रिया काफी कड़ी रही: MEA ने अमेरिकी फैसले को “अनुचित, अनुचित और अव्यावहारिक” करार देकर कहा है कि भारत अपने राष्ट्रीय हितों की रक्षा के लिए हर कदम उठाएगा.

अब आगे क्या?

व्यापार वार्ता में अगले कुछ हफ्तों में हलचल मच सकती है–अगर बातचीत से हल नहीं निकला, तो भारत भी बराबर का जवाब देने को तैयार दिखता है। ऐसे में अमेरिका को भी rethink करना पड़ेगा कि क्या वह अपने बड़े व्यापारिक पार्टनर भारत से संबंध बिगाड़ना चाहता है!

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