Government Procurement : कांग्रेस का लोकपाल पर तंज ,ये लोकपाल नहीं, शौकपाल है

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News India Live, Digital Desk: कांग्रेस ने भ्रष्टाचार पर नजर रखने वाली संस्था, लोकपाल, की महंगी कारें खरीदने की योजना पर सवाल उठाए हैं। पार्टी का कहना है कि लोकपाल अब जनता की सेवा करने के बजाय अपनी सुख-सुविधाओं पर ध्यान दे रहा है। कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने तो यहां तक कह दिया कि लोकपाल अब 'शोकपाल' और 'शॉकपाल' बन गया है।

महंगी गाड़ियों का क्या है मामला?

खबरों के अनुसार, लोकपाल कार्यालय ने सात लग्जरी BMW 330 Li (Long Wheel Base) गाड़ियां खरीदने के लिए एक टेंडर निकाला है। इस खरीद पर करीब 5 करोड़ रुपये खर्च होने का अनुमान है। इसी को लेकर कांग्रेस ने आपत्ति जताई है।

जयराम रमेश ने उठाए सवाल

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता जयराम रमेश ने इस खरीद पर हैरानी जताते हुए कहा कि जब सुप्रीम कोर्ट के जज भी सामान्य सेडान कारों में सफर करते हैं, तो फिर लोकपाल के चेयरमैन और सदस्यों को इन महंगी BMW कारों की क्या जरूरत है? उन्होंने यह भी पूछा कि लोकपाल ने अब तक भ्रष्टाचार के कितने मामलों की जांच की है और कितनी गिरफ्तारियां करवाई हैं?

'शौक पाल' पर कांग्रेस का तंज

जयराम रमेश ने लोकपाल पर कटाक्ष करते हुए कहा कि यह संस्था अब 'शौक पाल' बन गई है, जिसका मतलब है कि वे अपनी इच्छाओं और शौक को पूरा करने में लगे हैं। उन्होंने याद दिलाया कि कैसे 2012-13 में अन्ना हजारे और अन्य लोगों ने मिलकर लोकपाल के लिए बड़ा आंदोलन किया था, लेकिन आज जमीनी हकीकत काफी अलग नजर आ रही है।

दूसरे नेताओं की भी प्रतिक्रिया

कांग्रेस के अन्य नेताओं ने भी इस मुद्दे पर अपनी चिंता जाहिर की है। पूर्व केंद्रीय मंत्री पी. चिदंबरम ने भी कहा कि लोकपाल के सदस्यों को ऐसी महंगी गाड़ियों की क्या आवश्यकता है, खासकर जब सुप्रीम कोर्ट के जजों के लिए ऐसी व्यवस्था नहीं है। उन्होंने कहा कि जनता के पैसे का इस तरह का खर्च ठीक नहीं है।

लोकपाल की भूमिका क्या है?

लोकपाल संस्था का मुख्य काम सरकारी अधिकारियों पर लगे भ्रष्टाचार के आरोपों की जांच करना है। यह केंद्र सरकार के लोक सेवकों के खिलाफ भ्रष्टाचार के मामलों की जांच के लिए बनाई गई है। 2013 में लोकपाल और लोकायुक्त अधिनियम पारित होने के बाद इस संस्था की स्थापना की गई थी।

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