क्यों एक IPS अफसर को मौत को गले लगाना पड़ा? SC आयोग के एक नोटिस से हड़कंप, DGP से मांगा गया जवाब

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चंडीगढ़: हरियाणा के एक वरिष्ठ IPS अधिकारी द्वारा की गई आत्महत्या के दुखद मामले ने अब एक नया और गंभीर मोड़ ले लिया है। इस मामले में अब पंजाब राज्य अनुसूचित जाति (SC) आयोग ने दखल दे दिया है, जिससे पूरे प्रशासनिक और पुलिस महकमे में हड़कंप मच गया है। आयोग ने चंडीगढ़ के डीजीपी (पुलिस महानिदेशक) को नोटिस जारी कर इस पूरी घटना पर विस्तृत रिपोर्ट तलब की है।

क्या है पूरा मामला?

यह मामला सिर्फ एक आत्महत्या का नहीं है, बल्कि इसके पीछे उत्पीड़न और मानसिक प्रताड़ना के गंभीर आरोप भी जुड़े हुए हैं। खबरों के मुताबिक, मृतक अधिकारी ने अपनी मौत से पहले किसी वरिष्ठ अधिकारी पर उन्हें परेशान करने और मानसिक रूप से प्रताड़ित करने का आरोप लगाया था। मामला तब और संवेदनशील हो गया जब इसमें जातिगत एंगल के आरोप भी सामने आए।

SC आयोग ने क्यों लिया संज्ञान?

अनुसूचित जाति आयोग का इस मामले में दखल देना यह संकेत देता है कि वह इन आरोपों को बेहद गंभीरता से ले रहा है। पंजाब एससी आयोग के अध्यक्ष ने इस मामले पर स्वत: संज्ञान लेते हुए चंडीगढ़ के डीजीपी को नोटिस जारी किया है।

आयोग ने पुलिस से इस मामले में अब तक की जांच की प्रगति, दर्ज की गई किसी भी एफआईआर की कॉपी और आरोपों के संबंध में उठाए गए कदमों की पूरी जानकारी मांगी है। आयोग यह सुनिश्चित करना चाहता है कि इस मामले की निष्पक्ष और गहन जांच हो और अगर कोई भी अधिकारी दोषी पाया जाता है, तो उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए।

एक उच्च पदस्थ पुलिस अधिकारी द्वारा ऐसा कदम उठाना अपने आप में कई गंभीर सवाल खड़े करता है। यह घटना पुलिस विभाग के अंदर के दबाव, काम के माहौल और अधिकारियों के बीच के संबंधों पर भी एक बड़ी टिप्पणी है। अब सबकी निगाहें पुलिस की जांच और एससी आयोग की कार्रवाई पर टिकी हैं, ताकि सच सामने आ सके और मृतक अधिकारी को न्याय मिल सके।

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