Tamil Actress : 1500 फिल्में, पति ने छोड़ा, कहानी उस आची की, जो पर्दे पर हंसाती थी और असल जिंदगी में आंसू छिपाती थी
News India Live, Digital Desk: Tamil Actress : भारतीय सिनेमा के इतिहास में कई महान कलाकार हुए हैं, लेकिन कुछ ऐसे भी हैं जिनकी जिंदगी किसी फिल्मी कहानी से कम नहीं थी। आज हम आपको एक ऐसी ही महान तमिल एक्ट्रेस के बारे में बताने जा रहे हैं, जिन्होंने 1500 से ज्यादा फिल्मों में काम करके गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड बनाया, लेकिन उनकी निजी जिंदगी हमेशा दर्द और संघर्ष से भरी रही। यह कहानी है दिग्गज अदाकारा मनोरमा की, जिन्हें उनके प्रशंसक प्यार से 'आची' (मां) कहकर बुलाते थे।
मनोरमा ने अपने करियर में पांच मुख्यमंत्रियों के साथ काम किया और अपनी कॉमेडी और दमदार किरदारों से लोगों के दिलों पर दशकों तक राज किया। लेकिन जिस एक्ट्रेस ने पर्दे पर करोड़ों लोगों को हंसाया, उसकी अपनी कहानी में आंसू भी कम नहीं थे।
बचपन से शुरू हुआ संघर्ष
मनोरमा का जीवन बचपन से ही मुश्किलों भरा रहा। गरीबी के कारण उनका परिवार एक जगह से दूसरी जगह भटकता रहा और बहुत कम उम्र में ही मनोरमा पर परिवार की जिम्मेदारी आ गई। घर चलाने के लिए उन्हें 11 साल की उम्र में पढ़ाई छोड़कर दूसरों के घरों में काम करना पड़ा। इसी दौरान उन्हें एक ड्रामा मंडली में काम करने का मौका मिला, और यहीं से उनके अभिनय के सफर की शुरुआत हुई।
दो साल में टूटी शादी, फिर नहीं बसाया घर
अपने करियर की शुरुआत में ही मनोरमा को अपने मैनेजर एस. एम. रामनाथन से प्यार हो गया और 1954 में दोनों ने शादी कर ली। उनका एक बेटा भी हुआ, जिसका नाम भूपति है। लेकिन यह खुशी ज्यादा दिन नहीं टिक सकी। शादी के महज दो साल बाद ही 1956 में उनका तलाक हो गया।[1] कहा जाता है कि उनके पति ने एक ज्योतिषी की सलाह पर उन्हें छोड़ दिया था।[2]
इस धोखे का मनोरमा पर गहरा असर पड़ा, लेकिन उन्होंने हिम्मत नहीं हारी। उन्होंने फैसला किया कि वह दोबारा शादी नहीं करेंगी और अपनी पूरी जिंदगी अपने बेटे की परवरिश और अपने काम के लिए समर्पित कर देंगी।[2] उन्होंने एक इंटरव्यू में कहा था, "कैमरे के सामने भी मैं अंदर से रो रही होती थी। मैंने अपने सारे दुख अपने बेटे के लिए भुला दिए।"[3]
1500 फिल्में और गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड
पति से अलग होने के बाद मनोरमा ने खुद को पूरी तरह से अभिनय में झोंक दिया। 1958 में तमिल फिल्म 'मलैयित्ता मंगई' से अपने फिल्मी करियर की शुरुआत करने के बाद उन्होंने कभी पीछे मुड़कर नहीं देखा।उन्होंने तमिल के अलावा तेलुगु, मलयालम, कन्नड़ और हिंदी फिल्मों में भी काम किया। उन्होंने 1000 से ज्यादा फिल्मों में अभिनय करने का गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड बनाया, और अपने करियर के अंत तक यह आंकड़ा 1500 फिल्मों को पार कर चुका था।
समाज सेवा और देवी जैसा सम्मान
मनोरमा ने न सिर्फ पर्दे पर मां के यादगार किरदार निभाए, बल्कि असल जिंदगी में भी वह कई लोगों के लिए 'आची' यानी मां ही थीं। उन्होंने अपनी कमाई का एक बड़ा हिस्सा समाज सेवा और जरूरतमंदों की मदद में लगा दिया। वह हमेशा युवा प्रतिभाओं को आगे बढ़ने में मदद करती थीं। उनके इसी स्वभाव, संघर्ष और विशाल हृदय के कारण उनके परिवार और समुदाय के लोग उन्हें 'कुल दैवम' यानी कुलदेवी की तरह सम्मान देते थे। उन्होंने अपने जीवन से यह साबित कर दिया कि एक महिला अकेले ही हर मुश्किल का सामना कर सकती है और सफलता की नई ऊंचाइयों को छू सकती है।
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