Mogra Plant Care: फूलों की कमी की शिकायत होगी दूर बस अपनाएं ये तरीके

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News India Live, Digital Desk: Mogra Plant Care: मोगरा, जिसे मोगरी या जैस्मिन भी कहते हैं, अपने मोहक फूलों और मदहोश कर देने वाली खुशबू के लिए जाना जाता है। इसकी सुंदर सफेद कलियाँ जब खिलती हैं तो पूरा वातावरण महक उठता है। इसे लगाना तो आसान है, लेकिन इसकी सही देखभाल करना उतना ही महत्वपूर्ण है ताकि यह साल भर फूल देता रहे। यदि आप अपने मोगरा के पौधे को स्वस्थ और हरा-भरा रखना चाहते हैं, तो कुछ बातों का ध्यान रखना बेहद ज़रूरी है।

सबसे पहले बात आती है सूर्य की रोशनी की। मोगरा के पौधे को भरपूर धूप बहुत पसंद होती है। इसे ऐसे स्थान पर रखना चाहिए जहाँ इसे रोज़ाना कम से कम 6 से 8 घंटे की सीधी धूप मिल सके। यदि इसे पर्याप्त धूप नहीं मिलेगी, तो यह फूल नहीं देगा या बहुत कम फूल देगा। यह एक धूप पसंद करने वाला पौधा है, इसलिए धूप वाले स्थान का चुनाव ही करें।

पानी देने की बात करें तो, मोगरा के पौधे को नियमित रूप से पानी की आवश्यकता होती है, खासकर गर्म और शुष्क मौसम में। मिट्टी की ऊपरी परत छूने पर सूखी महसूस हो, तभी पानी दें, लेकिन ध्यान रहे कि गमले में पानी जमा न हो, क्योंकि इससे जड़ें गल सकती हैं। जड़ों का सड़ना पौधे के लिए बेहद हानिकारक होता है। सर्दियों में पानी की मात्रा और आवृत्ति थोड़ी कम कर सकते हैं, लेकिन मिट्टी को पूरी तरह से सूखने न दें।

मिट्टी का सही चुनाव भी बेहद ज़रूरी है। मोगरा के लिए अच्छी जल निकासी वाली, उपजाऊ और थोड़ी अम्लीय मिट्टी (मिट्टी का पीएच 5.5 से 6.5 के बीच) सबसे अच्छी मानी जाती है। आप इसे बनाने के लिए सामान्य बगीचे की मिट्टी में थोड़ी रेत, अच्छी गुणवत्ता वाली खाद या कोकोपीट का मिश्रण उपयोग कर सकते हैं ताकि मिट्टी भुरभुरी और उपजाऊ बनी रहे।

फूल आने के मौसम में मोगरा को नियमित रूप से खाद की ज़रूरत होती है। आप इसे हर दो से चार सप्ताह में एक बार संतुलित तरल जैविक खाद दे सकते हैं। पोटेशियम और फास्फोरस से भरपूर खाद फूलों के उत्पादन को बढ़ावा देती है और पौधे को ऊर्जा प्रदान करती है। अत्यधिक खाद से बचें क्योंकि यह पौधे को नुकसान पहुंचा सकती है।

पौधे की कटाई प्रूनिंग भी एक महत्वपूर्ण चरण है। सूखे, क्षतिग्रस्त फूलों और पत्तियों को हटाते रहें। फूलों के सूख जाने के बाद उन्हें तुरंत हटा देने से नए फूलों को खिलने के लिए प्रोत्साहन मिलता है और पौधा स्वस्थ रहता है। हल्की-फुल्की कटाई पौधे को घना बनाने में भी मदद करती है और उसे एक अच्छा आकार देती है।

अंत में, मोगरा के पौधे को अक्सर कीटों का सामना करना पड़ सकता है, जैसे कि एफिड्स और स्पाइडर माइट्स। इन कीटों से छुटकारा पाने के लिए आप नीम के तेल का घोल बनाकर उस का छिड़काव कर सकते हैं। यह एक प्राकृतिक और प्रभावी तरीका है। नियमित निरीक्षण करें और किसी भी कीट या रोग के लक्षण दिखते ही तुरंत उपचार करें ताकि समस्या गंभीर न हो।

इन आसान तरीकों को अपनाकर आप अपने मोगरा के पौधे को स्वस्थ रख सकते हैं और गर्मियों के साथ-साथ पूरे साल उसकी मदहोश कर देने वाली खुशबू और ढेर सारे फूलों का आनंद ले सकते हैं।

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