सरकार का साफ संदेश: ITR भरने की आखिरी तारीख नहीं बढ़ेगी, 15 सितंबर तक निपटा लें काम!
अगर आप उन टैक्सपेयर्स में से हैं जिनके खातों का ऑडिट होना जरूरी है, तो आपके लिए एक बड़ी खबर है. इनकम टैक्स रिटर्न (ITR) फाइल करने की आखिरी तारीख, 15 सितंबर, अब नजदीक आ रही है और इस बार सरकार इसे आगे बढ़ाने के मूड में बिल्कुल नहीं है. राजस्व सचिव ने साफ कर दिया है कि टैक्सपेयर्स को अब तारीखें बढ़ने का इंतजार करने की आदत छोड़ देनी चाहिए.
इसका सीधा मतलब है कि आपको अपना ITR हर हाल में 15 सितंबर, 2025 तक फाइल करना ही होगा. सरकार चाहती है कि टैक्स से जुड़े सभी काम समय पर पूरे हों, ताकि देश की आर्थिक व्यवस्था सुचारू रूप से चलती रहे.
किन लोगों के लिए है 15 सितंबर की डेडलाइन?
यह आखिरी तारीख हर किसी के लिए नहीं है. यह मुख्य रूप से उन लोगों और संस्थाओं के लिए है, जिनके अकाउंट्स का ऑडिट इनकम टैक्स एक्ट के तहत अनिवार्य होता है. इनमें शामिल हैं:
- बिजनेस करने वाले: ऐसे लोग या फर्म्स जिनका टर्नओवर एक निश्चित सीमा से अधिक है.
- प्रोफेशनल्स: ऐसे पेशेवर (जैसे डॉक्टर, वकील) जिनकी आय एक तय सीमा से ज्यादा है.
आम नौकरीपेशा लोगों के लिए ITR फाइल करने की आखिरी तारीख 31 जुलाई थी, जो अब निकल चुकी है.
क्यों नहीं बढ़ेगी तारीख?
सरकार का मानना है कि बार-बार तारीखें बढ़ाने से टैक्स कलेक्शन की पूरी प्रक्रिया में देरी होती है. राजस्व सचिव संजय मल्होत्रा ने अपने एक बयान में स्पष्ट किया कि सरकार अब इस कल्चर को बदलना चाहती है. वे चाहते हैं कि लोग अपनी टैक्स संबंधी जिम्मेदारियों को गंभीरता से लें और समय पर अपना रिटर्न फाइल करें.
अगर चूके, तो क्या होगा अंजाम?
अगर आप 15 सितंबर की डेडलाइन चूक जाते हैं, तो आपको इसके गंभीर परिणाम भुगतने पड़ सकते हैं:
- भारी जुर्माना: देरी से ITR भरने पर 5,000 रुपये तक का जुर्माना लग सकता है.
- ब्याज का बोझ: अगर आपका कोई टैक्स बकाया है, तो उस पर आपको देरी की अवधि के लिए ब्याज भी चुकाना होगा.
- नुकसान को आगे नहीं ले जा पाएंगे: बिजनेस या शेयर बाजार में हुए नुकसान को आप अगले साल के मुनाफे से एडजस्ट नहीं कर पाएंगे.
इसलिए, आखिरी दिन का इंतजार न करें. सर्वर पर लोड बढ़ने या किसी तकनीकी गड़बड़ी से बचने के लिए अपना ITR आज ही फाइल कर दें. एक समझदार टैक्सपेयर बनें और समय पर अपनी जिम्मेदारी पूरी करें.
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