Feminine Hygiene : पीरियड्स और पसीने के अलावा, इन 4 कारणों से आती है योनि में दुर्गंध, जानें समाधान

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News India Live, Digital Desk: Feminine Hygiene : योनि की दुर्गंध एक ऐसी समस्या है जिससे कई महिलाएं कभी न कभी प्रभावित होती हैं। यह एक सामान्य समस्या है, लेकिन अक्सर शर्मिंदगी और परेशानी का कारण बन सकती है। यह आमतौर पर जीवाणु असंतुलन (बैक्टीरियल वेजिनोसिस) या फंगल संक्रमण के कारण होता है, हालांकि अन्य कारक भी इसमें योगदान कर सकते हैं। इसकी उचित समझ और साफ-सफाई के सही तरीके अपनाकर इससे छुटकारा पाया जा सकता है।

योनि में दुर्गंध के सामान्य कारण:

जीवाणु असंतुलन (बैक्टीरियल वेजिनोसिस - BV): यह योनि में मौजूद प्राकृतिक बैक्टीरिया के संतुलन में गड़बड़ी के कारण होने वाला सबसे आम कारण है। जब अच्छे बैक्टीरिया (लैक्टोबैसिली) की संख्या कम हो जाती है और कुछ हानिकारक बैक्टीरिया की संख्या बढ़ जाती है, तो मछली जैसी तेज़ गंध, विशेष रूप से संभोग के बाद, उत्पन्न हो सकती है। इसके साथ अक्सर पतला, सफेद या भूरा स्राव और हल्की खुजली भी हो सकती है।

फंगल इन्फेक्शन (यीस्ट इन्फेक्शन): योनि में फंगल संक्रमण (कैंडिडिआसिस) भी एक आम समस्या है, जिससे खुजली, जलन और गाढ़ा, पनीर जैसा स्राव हो सकता है। हालांकि, इसमें आमतौर पर तेज गंध नहीं आती, लेकिन कुछ मामलों में यह हल्की, खमीरी या बीयर जैसी गंध पैदा कर सकता है।

यौन संचारित संक्रमण (STIs): कुछ यौन संचारित संक्रमण, जैसे ट्राइकोमोनिएसिस (जो एक परजीवी के कारण होता है), भी योनि में दुर्गंध का कारण बन सकते हैं। इसमें अक्सर मछली जैसी दुर्गंध, हरा-पीला, झागदार स्राव और खुजली व जलन भी होती है।

खराब स्वच्छता: योनि क्षेत्र में सही साफ-सफाई न रखना भी दुर्गंध का एक कारण हो सकता है। अत्यधिक पसीना, तंग कपड़े पहनना, या साफ अंडरवियर न पहनना नमी और बैक्टीरिया के पनपने का माहौल बना सकता है, जिससे गंध आ सकती है। इसके विपरीत, बहुत अधिक धुलाई या कठोर साबुन का उपयोग भी योनि के प्राकृतिक pH संतुलन को बिगाड़ सकता है, जिससे समस्या और बढ़ सकती है।

दुर्गंध से छुटकारा पाने के उपाय:

उचित साफ-सफाई: योनि क्षेत्र को दिन में एक या दो बार हल्के गुनगुने पानी से साफ करें। कठोर साबुन, सुगंधित उत्पादों या डूशिंग का उपयोग करने से बचें, क्योंकि ये प्राकृतिक संतुलन को बिगाड़ सकते हैं।

हल्के कपड़े पहनें: सूती अंडरवियर और ढीले-ढाले कपड़े पहनें, जिससे हवा का संचार अच्छा हो और नमी न बने। यह बैक्टीरिया और यीस्ट के पनपने के जोखिम को कम करता है।

स्वच्छता का ध्यान: मासिक धर्म के दौरान पैड या टैम्पोन को नियमित रूप से बदलें। वर्कआउट या शारीरिक गतिविधि के बाद तुरंत स्नान करें।

संतुलित आहार: एक स्वस्थ और संतुलित आहार लेना, खासकर प्रोबायोटिक्स से भरपूर खाद्य पदार्थ (जैसे दही), योनि के अच्छे बैक्टीरिया के संतुलन को बनाए रखने में मदद कर सकता है।

सुरक्षित यौन संबंध: यौन संचारित संक्रमणों से बचाव के लिए कंडोम का उपयोग करें और अपने यौन साथी के स्वास्थ्य को लेकर जागरूक रहें।

चिकित्सक से परामर्श: यदि दुर्गंध लगातार बनी रहती है, स्राव में बदलाव आता है, खुजली, जलन, या पेशाब करते समय दर्द होता है, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें। डॉक्टर सही निदान और उपचार बता सकते हैं, जो बैक्टीरियल वेजिनोसिस के लिए एंटीबायोटिक्स या फंगल संक्रमण के लिए एंटीफंगल दवाएं हो सकती हैं।
 

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