Bollywood journey : सिर्फ 12 घंटों में मेरी दुनिया बदल गई, मिर्ज़ापुर की सफलता पर बोले विक्रांत मैसी

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News India Live, Digital Desk: Bollywood journey : बॉलीवुड में हर कलाकार एक मौके की तलाश में रहता है. एक ऐसा मौका जो रातों-रात उसकी किस्मत बदल दे. टीवी के जाने-माने चेहरे और अपनी संजीदा एक्टिंग के लिए पहचाने जाने वाले विक्रांत मैसी के लिए वो मौका बनकर आई अमेज़ॅन प्राइम की वेब सीरीज़ 'मिर्ज़ापुर'. विक्रांत आज '12वीं फेल' जैसी फिल्मों से सफलता के शिखर पर हैं, लेकिन वो आज भी उस एक रात को नहीं भूलते, जब 'मिर्ज़ापुर' ने उन्हें वो पहचान दी, जिसका उन्हें सालों से इंतज़ार था.

'मिर्ज़ापुर' से पहले और बाद का विक्रांत

'मिर्ज़ापुर' से पहले विक्रांत मैसी को लोग जानते तो थे, लेकिन पहचानते नहीं थे. उन्होंने 'बालिका वधू' जैसे पॉपुलर टीवी सीरियल में काम किया था और 'लुटेरा' और 'दिल धड़कने दो' जैसी फिल्मों में छोटे मगर अहम किरदार भी निभाए थे. लोग उन्हें एक अच्छे एक्टर के तौर पर जानते थे, पर स्टारडम अभी कोसों दूर था.

लेकिन फिर साल 2018 में 'मिर्ज़ापुर' रिलीज़ हुई. इस सीरीज़ में उन्होंने 'बबलू पंडित' का किरदार निभाया, जो एक सीधा-साधा पढ़ाकू लड़का होता है, लेकिन हालात उसे अपराध की दुनिया में खींच लाते हैं. बबलू पंडित के किरदार में विक्रांत ने जान फूंक दी. उनका शांत मगर गहरा अभिनय दर्शकों के दिलों में उतर गया.

जब 12 घंटों ने बदल दी किस्मत

एक हालिया इंटरव्यू में उस दौर को याद करते हुए विक्रांत ने कहा, "मिर्ज़ापुर के रिलीज़ होने के 12 घंटों के अंदर मेरी ज़िंदगी पूरी तरह से बदल चुकी थी."

उन्होंने बताया कि कैसे लोग उन्हें टीवी के एक जाने-माने एक्टर के तौर पर तो देखते थे, लेकिन 'मिर्ज़ापुर' ने उन्हें घर-घर में 'बबलू भैया' बना दिया. वो कहते हैं, "उस एक शो के बाद लोगों का मुझे देखने का नज़रिया बदल गया. जो लोग मुझे सिर्फ सपोर्टिंग एक्टर समझते थे, वो अब मुझे एक लीड एक्टर के तौर पर देखने लगे थे. मुझे इंडस्ट्री से वैसे ऑफर्स मिलने लगे, जैसे मैं हमेशा से चाहता था."

'मिर्ज़ापुर' की सफलता के बाद विक्रांत ने कभी पीछे मुड़कर नहीं देखा. उन्होंने 'छपाक', 'हसीन दिलरुबा', 'गैसलाइट' और फिर '12वीं फेल' जैसी फिल्मों में मुख्य भूमिकाएँ निभाईं और साबित कर दिया कि वो सिर्फ एक अच्छे एक्टर ही नहीं, बल्कि एक बैंकेबल स्टार भी हैं. आज वो उन अभिनेताओं में से हैं, जिनका नाम ही फिल्म या सीरीज़ की गुणवत्ता की गारंटी माना जाता है. यह सब उस एक रात का ही असर है, जब बबलू पंडित ने कालीन भैया की दुनिया में कदम रखा था.

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