स्टार्स के साथ काम करना मतलब बर्बादी ,किरण राव ने बताया क्यों नए एक्टर्स के साथ फिल्में बनाना है आसान

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News India Live, Digital Desk :  बॉलीवुड में जहां हर कोई बड़े-बड़े सितारों के साथ काम करने का सपना देखता है, वहीं जानी-मानी फिल्ममेकर किरण राव ने एक ऐसा बयान दिया है जिसने इंडस्ट्री में एक नई बहस छेड़ दी है। अपनी हालिया फिल्म "लापता लेडीज" की सफलता के बाद किरण राव ने कहा है कि नए और गैर-अनुभवी एक्टर्स के साथ काम करना कहीं ज्यादा आसान और कम खर्चीला होता है। उन्होंने इशारों-इशारों में यह भी बता दिया कि कैसे बड़े स्टार्स के "नखरे" और उनका तामझाम फिल्म के बजट और माहौल को खराब कर सकता है।

किरण राव, जो अपनी अलग तरह की फिल्मों के लिए जानी जाती हैं, ने एक हालिया इंटरव्यू में अपने अनुभव साझा किए। उन्होंने बताया कि नए कलाकारों में काम को लेकर एक अलग ही भूख और जुनून होता है।

क्यों हैं नए एक्टर्स किरण की पहली पसंद?

किरण ने बताया कि नए एक्टर्स सेट पर पूरी तरह से समर्पित रहते हैं।

  • "कम बर्बादी": उन्होंने कहा, "नए एक्टर्स कम बर्बादी करते हैं (Fresh actors are less wasteful)।" इसका मतलब है कि वे समय और संसाधनों की कीमत समझते हैं। उनके साथ किसी तरह का कोई तामझाम या बड़ा काफिला (entourage) नहीं होता, जैसे कि बड़े स्टार्स के साथ अक्सर होता है, जिसमें मैनेजर, मेकअप आर्टिस्ट, हेयर ड्रेसर और कई असिस्टेंट शामिल होते हैं। यह सब फिल्म के बजट पर भारी पड़ता है।
  • काम करने में आसान: किरण के मुताबिक, "उनके साथ काम करना बहुत आसान होता है (much easier to work with)।" नए कलाकार पूरी तरह से डायरेक्टर के विजन पर भरोसा करते हैं और किरदार में ढलने के लिए किसी भी हद तक जाने को तैयार रहते हैं। उनमें सीखने की ललक होती है और वे सेट पर कोई मांग या नखरे नहीं दिखाते।
  • ज्यादा समय और समर्पण: नए एक्टर्स फिल्म को अपना पूरा समय देते हैं। वे वर्कशॉप के लिए हमेशा तैयार रहते हैं और शूटिंग के दौरान पूरी तरह से उपलब्ध होते हैं। वहीं, बड़े सितारों के पास एक साथ कई प्रोजेक्ट्स होते हैं, जिससे डेट्स और समय को लेकर काफी मुश्किलें आती हैं।

"लापता लेडीज" की कास्टिंग थी एक बड़ा चैलेंज

किरण ने यह भी स्वीकार किया कि "लापता लेडीज" जैसी फिल्म के लिए सही चेहरे ढूंढना आसान नहीं था। उन्होंने देश भर में हजारों लड़कियों का ऑडिशन लिया ताकि उन्हें अपने किरदारों के लिए बिल्कुल सही और असली दिखने वाले एक्टर्स मिल सकें। फिल्म के मुख्य कलाकार, नितांशी गोयल, प्रतिभा रांटा और स्पर्श श्रीवास्तव, सभी इंडस्ट्री के लिए नए चेहरे हैं, लेकिन उन्होंने अपने प्रदर्शन से सबका दिल जीत लिया है।

किरण राव का यह बयान बॉलीवुड के उस चमक-दमक वाले पहलू पर सवाल उठाता है, जहां फिल्म की कहानी से ज्यादा स्टार्स के नाम को महत्व दिया जाता है। उन्होंने यह साबित कर दिया है कि अगर कहानी में दम हो और कलाकार प्रतिभाशाली हों, तो फिल्म को सफल होने के लिए किसी बड़े 'खान' या 'कपूर' की जरूरत नहीं होती।

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