Rajasthan village bandh movement :राजस्थान में 29 जनवरी 2025 को एक ऐतिहासिक किसान आंदोलन होने जा रहा है। किसान महापंचायत ने घोषणा की है कि इस दिन राजस्थान के 45,537 गांव पूरी तरह बंद रहेंगे। यह आंदोलन किसानों की मांगों को लेकर किया जा रहा है, खासतौर पर न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) की गारंटी कानून लागू करवाने के लिए।
MSP कानून की मांग को लेकर आंदोलन
किसान लंबे समय से न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) पर कानूनी गारंटी की मांग कर रहे हैं। इससे पहले भी, केंद्र सरकार को तीन विवादास्पद कृषि कानूनों को वापस लेना पड़ा था, जो किसानों के विरोध के कारण लागू नहीं हो पाए थे। पिछले वर्षों में पंजाब और अन्य राज्यों के किसान भी दिल्ली की सीमाओं पर विरोध प्रदर्शन करते रहे हैं।
राजस्थान में अब किसान महापंचायत ने MSP की गारंटी के लिए गांव बंद आंदोलन का ऐलान किया है। 29 जनवरी को होने वाले इस आंदोलन का उद्देश्य सरकार पर दबाव बनाना और किसानों की समस्याओं को उजागर करना है।
गांव के लोग बाहर नहीं जाएंगे
गांव बंद आंदोलन के दौरान, गांव का कोई भी व्यक्ति गांव से बाहर नहीं जाएगा।
- कोई बाहरी यात्रा नहीं: रेल, बस या निजी वाहनों का इस्तेमाल नहीं किया जाएगा।
- स्थानीय उत्पादों की बिक्री बंद: गांव के उत्पादों को बाहर नहीं भेजा जाएगा, लेकिन स्थानीय स्तर पर लोग उत्पाद खरीद सकते हैं।
- आपातकालीन सेवाएं जारी रहेंगी: स्वास्थ्य आपातकाल जैसी स्थितियों में लोगों को आवाजाही की अनुमति होगी।
किसान महापंचायत के अनुसार, यह कदम शांतिपूर्ण तरीके से होगा और ग्रामीण अपने अधिकारों की लड़ाई शांतिपूर्ण तरीके से लड़ेंगे।
राजस्थान में पहली बार गांव बंद आंदोलन
किसान महापंचायत के राष्ट्रीय अध्यक्ष रामपाल जाट ने कहा कि यह राजस्थान में अपनी तरह का पहला गांव बंद आंदोलन होगा। यह आंदोलन किसानों के लिए एक निर्णायक कदम माना जा रहा है।
- प्रत्येक घर से लिया जाएगा संकल्प: हर गांव के लोग इस आंदोलन में भाग लेंगे और अपने-अपने घरों से संकल्प पत्र भरेंगे।
- गांव में दुकानें खुली रहेंगी: हालांकि, गांव में दुकानें और आवश्यक सेवाएं चालू रहेंगी, लेकिन बाहरी लोगों का प्रवेश प्रतिबंधित रहेगा।
- स्थानीय उत्पादों का व्यापार बंद: गांव के उत्पादों को बाहर ले जाकर बेचना पूरी तरह प्रतिबंधित रहेगा। अगर कोई व्यक्ति खरीदना चाहता है तो उसे गांव में ही आकर उत्पाद खरीदना होगा।
45537 गांव होंगे आंदोलन में शामिल
यह आंदोलन राजस्थान के 45,537 गांवों में लागू होगा, जिसमें लाखों किसान भाग लेंगे।
- इस दौरान गांव में किसी भी प्रकार का बाहरी हस्तक्षेप नहीं होगा।
- आंदोलन पूरी तरह शांतिपूर्ण और व्यवस्थित रहेगा।
- किसान पंचायत ने इसे “कमाई के साथ लड़ाई” का नाम दिया है, जहां गांव के लोग एकजुट होकर अपने अधिकारों के लिए आवाज उठाएंगे।
यह आंदोलन सरकार को किसानों की मांगों को गंभीरता से लेने और MSP की कानूनी गारंटी देने के लिए बाध्य करने का एक महत्वपूर्ण प्रयास होगा।