टोल टैक्स की दरें: भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (NHAI) ने टोल टैक्स में बढ़ोतरी कर दी है। नई दरें अब रविवार 2 जून की रात 12 बजे से लागू होंगी। अधिकारियों ने बताया कि सोमवार से देशभर में सड़क टोल शुल्क में 3-5% की बढ़ोतरी होने जा रही है। आपको बता दें कि देश में आम चुनावों के कारण अप्रैल में सालाना बढ़ोतरी रोक दी गई थी।
भारत में टोल शुल्क में हर साल महंगाई के हिसाब से संशोधन किया जाता है और हाईवे ऑपरेटरों ने स्थानीय अखबारों में नोटिस देकर सोमवार से करीब 1,100 टोल प्लाजा पर 3% से 5% की बढ़ोतरी की घोषणा की है। नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया के एक वरिष्ठ अधिकारी ने समाचार एजेंसी रॉयटर्स को बताया कि चुनाव प्रक्रिया खत्म होने के बाद से यूजर फीस (टोल) दरों में संशोधन किया गया है। चुनाव के दौरान इसे रोक दिया गया था जो अब 3 जून से प्रभावी है।
दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेसवे पर इतना बढ़ा टोल
दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेसवे के जरिए मेरठ से गाजियाबाद या फिर करनाल हाईवे के जरिए शामली जाने वाले वाहन चालकों पर टोल टैक्स की मार ज्यादा पड़ेगी। रविवार यानी आज रात 12 बजे से मेरठ से सराय काले खां जाने वाले कार चालकों को काशी (परतापुर) टोल प्लाजा पर 160 रुपये की जगह 165 रुपये शुल्क देना होगा। 24 घंटे में दोनों तरफ का शुल्क 230 रुपये की जगह 250 रुपये होगा। मेरठ-करनाल हाईवे पर शामली के रास्ते मेरठ से करनाल जाने के लिए वाहन चालकों पर पांच से दस रुपये का बोझ बढ़ेगा। अलग-अलग वाहन श्रेणी के लिए अलग-अलग दरें तय की गई हैं।
प्रयागराज से वाराणसी और कौशाम्बी से प्रतापगढ़ का सफर महंगा हो गया है।
वहीं, अब प्रयागराज से वाराणसी और कौशांबी से प्रतापगढ़ का सफर महंगा हो गया है। बताया गया है कि कार व अन्य जैसे छोटे वाहनों पर पांच से सात रुपये प्रति किलोमीटर और भारी वाहनों पर 25 से 30 रुपये प्रति किलोमीटर टोल टैक्स बढ़ाया गया है। कानपुर-प्रयागराज हाईवे के बीच टोल टैक्स में सबसे ज्यादा बढ़ोतरी की गई है। अगर आप कार से सफर करते हैं तो फतेहपुर के बरौरी टोल प्लाजा पर 55 रुपये और कटोघन टोल प्लाजा पर 40 रुपये अतिरिक्त चुकाने होंगे।
टोल में बढ़ोतरी से इन्हें होगा फायदा
टोल में बढ़ोतरी से आईआरबी इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपर्स और अशोका बिल्डकॉन लिमिटेड जैसे बड़े ऑपरेटरों को फायदा होगा। भारत ने पिछले दशक में राष्ट्रीय राजमार्गों के विस्तार के लिए अरबों डॉलर का निवेश किया है, जिसकी कुल लंबाई लगभग 146,000 किलोमीटर है, जो दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा सड़क नेटवर्क है।
साल दर साल इतना बढ़ा टोल
2018/19 में 252 बिलियन रुपये से बढ़कर 2022/23 वित्तीय वर्ष में टोल संग्रह 540 बिलियन रुपये ($6.5 बिलियन) से अधिक हो गया। इसमें टोल प्लाजा और शुल्कों की संख्या में वृद्धि के साथ-साथ सड़क यातायात में वृद्धि से भी मदद मिली।