भारत के टी20 कप्तान सूर्यकुमार यादव ने अपनी कप्तानी से टीम इंडिया को शानदार प्रदर्शन कराया है। हालांकि, एक बल्लेबाज के तौर पर उनकी फॉर्म कप्तानी के दौरान प्रभावित हुई है। जहां टीम ने उनके नेतृत्व में कई मैच जीते हैं, वहीं उनके व्यक्तिगत प्रदर्शन ने चिंताएं बढ़ा दी हैं।
सूर्यकुमार की कप्तानी का रिकॉर्ड
सूर्यकुमार यादव ने अब तक टी20 इंटरनेशनल में 19 मैचों में भारतीय टीम की कप्तानी की है।
- 15 जीत,
- 3 हार,
- 1 टाई (सुपर ओवर में भारत की जीत)।
उनकी कप्तानी का यह रिकॉर्ड दर्शाता है कि वह टीम को बेहतरीन तरीके से संभाल रहे हैं। टीम की सामूहिक सफलता में सूर्यकुमार की रणनीतियां और नेतृत्व अहम भूमिका निभा रहे हैं।
बल्लेबाजी में गिरावट
कप्तानी करते हुए सूर्यकुमार यादव की बल्लेबाजी में गिरावट साफ देखी जा सकती है।
- 19 मैचों की 18 पारियों में उन्होंने कुल 542 रन बनाए हैं।
- उनका औसत 30.11 का है, जो उनके करियर औसत 39.72 से काफी कम है।
- कप्तान के तौर पर उन्होंने 1 शतक और 4 अर्धशतक जड़े हैं, जबकि बल्लेबाज के तौर पर उनके नाम 3 शतक हैं।
पिछले 5 मैचों में उन्होंने सिर्फ 17 रन बनाए हैं। इन पारियों में उनका स्ट्राइक रेट भी अस्थिर रहा है। कभी 200 से ऊपर का स्ट्राइक रेट तो कभी 100 से भी नीचे।
तीसरे नंबर पर तिलक वर्मा का प्रमोशन
सूर्यकुमार यादव ने टीम में युवा बल्लेबाज तिलक वर्मा को तीसरे नंबर पर बल्लेबाजी का मौका दिया है। तिलक ने इस मौके को भुनाते हुए लगातार रन बनाए हैं, लेकिन इसका असर सूर्यकुमार की खुद की बल्लेबाजी पर पड़ा है। मिडिल ऑर्डर में खेलते हुए सूर्या लय नहीं पकड़ पा रहे हैं।
पिछली 10 पारियों का प्रदर्शन
- सूर्या ने पिछली 10 पारियों में सिर्फ 1 अर्धशतक लगाया है।
- उनका प्रदर्शन उतार-चढ़ाव भरा रहा है।
- कई पारियों में वे छोटी-छोटी शुरुआतों को बड़ी पारियों में बदलने में असफल रहे।
जीत में कप्तान की भूमिका अहम
हालांकि, उनकी कप्तानी में टीम इंडिया का प्रदर्शन प्रभावशाली रहा है। मैदान पर उनकी आक्रामक रणनीतियां और खिलाड़ियों को प्रेरित करने की क्षमता टीम के लिए फायदेमंद साबित हुई हैं।
क्या सूर्या वापसी कर पाएंगे?
सूर्यकुमार यादव का आक्रामक खेल और उनके 360-डिग्री शॉट्स उन्हें टी20 क्रिकेट में अलग पहचान देते हैं। लेकिन बतौर कप्तान, उनका ध्यान अब ज्यादा जिम्मेदारियों पर है, जिससे उनकी बल्लेबाजी प्रभावित हो रही है। फॉर्म में वापसी के लिए उन्हें आत्मविश्वास और निरंतरता पर काम करना होगा।