मौसम बदलने के साथ सर्दी-जुकाम और बुखार आम हो जाते हैं। लेकिन बुखार के दौरान नहाने को लेकर अक्सर लोग असमंजस में रहते हैं। कई लोग मानते हैं कि बुखार में नहाने से तापमान बढ़ सकता है, जबकि कुछ का कहना है कि सही तरीके से नहाने से आराम मिलता है। आइए जानते हैं, इस पर साइंस क्या कहता है।
क्या बुखार में नहाना सही है?
शरीर का तापमान बढ़ना: बुखार का असर
जब बुखार होता है, तो शरीर का तापमान सामान्य से अधिक हो जाता है।
ठंड लगने या सर्दी-जुकाम के दौरान भी शरीर कमजोर महसूस करता है।
इस स्थिति में नहाने का तरीका और पानी का तापमान आपकी सेहत पर बड़ा असर डाल सकता है।
गुनगुने पानी से नहाना है फायदेमंद
रिसर्च के अनुसार, बुखार और सर्दी-जुकाम के दौरान गुनगुने पानी से नहाना लाभकारी होता है।
यह शरीर के तापमान को नियंत्रित करने में मदद करता है।
गुनगुने पानी से स्नान मांसपेशियों को आराम देता है और रक्त परिसंचरण को सुधारता है।
ठंडे पानी से नहाने के नुकसान
1. शरीर का तापमान अचानक गिर सकता है
ठंडे पानी से नहाने पर शरीर का तापमान तेजी से गिर सकता है, जिससे ठंड और बढ़ सकती है।
2. ठंड लगने की समस्या
ठंडे पानी के संपर्क में आने से ठंड और तेज लगने लगती है, जिससे बुखार बढ़ सकता है।
3. प्रतिरोधक क्षमता पर असर
ठंडे पानी से स्नान करने से शरीर की प्रतिरोधक क्षमता पर नकारात्मक असर पड़ सकता है, जिससे रिकवरी धीमी हो सकती है।
हाइड्रोथेरेपी: बुखार में नहाने का वैज्ञानिक आधार
हाइड्रोथेरेपी क्या है?
हाइड्रोथेरेपी एक चिकित्सा पद्धति है, जिसमें पानी का उपयोग उपचार के लिए किया जाता है।
इसके तहत गुनगुने पानी से नहाना या स्नान करना, शरीर के तापमान को नियंत्रित करने और रक्त परिसंचरण को बढ़ाने में मदद करता है।
गुनगुने पानी से स्नान के फायदे
शरीर का तापमान नियंत्रित होता है:
गुनगुने पानी से नहाने से शरीर का अतिरिक्त तापमान धीरे-धीरे कम होता है।
मांसपेशियों को आराम मिलता है:
बुखार के कारण होने वाली कमजोरी और मांसपेशियों के खिंचाव को कम करता है।
रक्त परिसंचरण में सुधार:
यह शरीर में रक्त प्रवाह को बेहतर बनाता है, जिससे ऑक्सीजन सप्लाई बेहतर होती है।
तनाव में कमी:
गुनगुने पानी से स्नान करने से मानसिक तनाव भी कम होता है।
फुटबाथ थेरेपी: एक विशेष उपचार
इंडियन जर्नल ऑफ कंटीन्यूइंग नर्सिंग एजुकेशन में प्रकाशित शोध के अनुसार, बुखार के दौरान फुटबाथ थेरेपी प्रभावी हो सकती है।
फुटबाथ थेरेपी में पैरों को गुनगुने पानी में डुबोया जाता है।
यह शरीर के तापमान को संतुलित करता है और तेजी से आराम देता है।
इसे बुखार से राहत के लिए सरल और प्रभावी तरीका माना जाता है।