पूर्वांचल और आईएमएस बीएचयू के लिए गर्व का क्षण, प्रो. यशस्वी सिंह यूयू के सदस्य बने

वाराणसी, 21 मई (हि.स.)। आईएमएस बीएचयू यूरोलॉजी विभाग के सहायक प्रोफेसर डॉ. यशस्वी सिंह ने पूर्वांचल और आईएमएस बीएचयू के लिए गर्व का क्षण दिया है। प्रो. सिंह को वर्ष 2024-25 के लिए यूरोलॉजिकल सोसाइटी ऑफ इंडिया (यूयू) के युवा संगठन के परिषद सदस्य के रूप में चुना गया है। देश भर में कुल 8 सीटें मौजूद थीं और उनमें से 2 यूएसआई के उत्तरी क्षेत्र चैप्टर से थीं। यू एक युवा सोसायटी है जिसकी शुरुआत 4 साल पहले यूरोलॉजी सोसायटी ऑफ इंडिया से युवा यूरोलॉजी डॉक्टरों की आकांक्षाओं को पूरा करने और उनकी बेहतरी के लिए और जमीनी स्तर पर मरीजों के लिए काम करने के लिए की गई थी। यह पहली बार है कि पूर्वांचल क्षेत्र से किसी को इस प्रतिष्ठित पद के लिए चुना गया है।

विवि के जनसम्पर्क अधिकारी प्रो. राजेश सिंह के अनुसार, डॉ यशस्वी का चयन मूत्रविज्ञान के क्षेत्र में उनके योगदान और क्षेत्र में स्वास्थ्य सेवा को आगे बढ़ाने के लिए उनकी अटूट प्रतिबद्धता का प्रमाण है। डॉ यशस्वी ने मौलाना आजाद मेडिकल कॉलेज से सामान्य सर्जरी में स्नातक की उपाधि प्राप्त की और जीएमसी गुवाहाटी से एमसीएच यूरोलॉजी की पढ़ाई की। वह केकेसीसी इरोड, तमिलनाडु से एमआईयूसी फेलो भी हैं। उनकी विशेषज्ञता का क्षेत्र यूरोकोलॉजी है। वह हाल ही में बीएचयू में हुए किडनी ट्रांसप्लांट में भी ट्रांसप्लांट टीम का हिस्सा थे। उन्होंने बताया कि यूरोलॉजिकल सोसाइटी ऑफ इंडिया का युवा संगठन देश भर में युवा मूत्र रोग विशेषज्ञों के बीच सहयोग, ज्ञान के आदान-प्रदान और व्यावसायिक विकास को बढ़ावा देकर मूत्रविज्ञान के भविष्य को आकार देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।

आईएमएस बीएचयू के मूत्रविज्ञान विभाग के एचओडी प्रोफेसर समीर त्रिवेदी ने कहा, “हमें डॉ यशस्वी की उपलब्धि पर गर्व है और उम्मीद है कि हमारे सदस्य हमें यूएसआई में गौरवान्वित करेंगे।” काउंसिल सदस्य के रूप में उनका चयन न केवल उनकी व्यक्तिगत उपलब्धियों को बल्कि हमारे समाज की सामूहिक उत्कृष्टता को भी दर्शाता है। हमें विश्वास है कि वह युवा संगठन में बहुमूल्य योगदान देंगे और क्षेत्र में दूसरों को प्रेरित करते रहेंगे।