ऋषिकेश , 24मई (हि. स.)। एम्स ऋषिकेश के वायरल वीडियो पर संज्ञान लेते हुए निरीक्षण करने ऋषिकेश पहुंच एसएसपी अजय सिंह ने कहा कि उस वक्त परिस्थिति के हिसाब से जो भी किया गया, ठीक किया गया।
उल्लेखनीय है कि ऋषिकेश एम्स अस्पताल में गुरूवार को हुए घटनाक्रम का एक वीडियो सोशल मीडिया पर काफी तेजी से वायरल हो रहा है, जिसमें साफ दिखाई पड़ रहा है कैसे अस्पताल की चौथी मंजिल पर पुलिस की एक गाड़ी ले जाई गई। इस दौरान वार्ड में जिसने भी ये मंजर देखा, हर कोई हैरानी में पड़ गया। इसी मामले को लेकर आज देहरादून एसएसपी अजय सिंह जांच के लिए खुद ऋषिकेश एम्स पहुंचे। उन्होंने एम्स अस्पताल के घटनास्थल का निरीक्षण किया और एम्स के डायरेक्टर और सिक्योरिटी इंचार्ज से इस मामले को लेकर बातचीत भी की। जांच में यह बात सामने आई कि वायरल वीडियो इमरजेंसी वार्ड का न होकर मरीजों को भर्ती करने से पहले रुकने के लिए बनाई गई वेटिंग गैलरी का है।
उल्लेखनीय है ये मामला 19 मई से चल रहा है जब एक पीड़ित महिला डॉक्टर ने ऑपरेशन थियेटर में नर्सिंग स्टाफ के एक पुरूष सहकर्मी के खिलाफ अस्पताल प्रशासन को शिकायत दर्ज कराई थी। प्रशासनिक जांच के बाद पुलिस को लिखित तहरीर दी है कि ऑपरेशन थिएटर के अंदर महिला डॉक्टर के साथ छेड़छाड़ हुई है। इसके बाद आरोपी की गिरफ्तारी की मांग को लेकर डॉक्टरों ने हड़ताल कर दी।
एम्स में निरीक्षण के बाद देहरादून एसएसपी अजय सिंह ने बताया कि एक पुलिस को एक अस्पतालकर्मी द्वारा छेड़छाड़ के मामले में तहरीर मिली थी और आरोपित के खिलाफ डाक्टर्स में भारी आक्रोश दिख रहा था। इसी बीच आरोपित साइकेट्रिस्ट वार्ड में एडमिट हो गया था और इसके विरोध ने बाहर ढाई से तीन सौ लोग जमा हो गए थे। जब पुलिस वहां पहुंची तो देखा की वहां पर लोग आक्रोश में और पिटाई करने की आवेश में थे । पुलिस द्वारा बहुत समझने के बाद भी जब वे नहीं माने तो एम्स प्रशासन और सिक्योरिटी ऑफिसर द्वारा इमरजेंसी एग्जिट प्लान बनाया गया, जहां से रैंप का प्रयोग कर गाड़ी ऊपर ले जाकर आरोपित को सुरक्षित निकाला गया।
एसएसपी ने बताया की जो वीडियो वायरल हो रहा है वो कोई आपातकालीन या अन्य मरीजों का वार्ड नहीं है बल्कि वेटिंग एरिया है। खुद एम्स सिक्योरिटी ने पुलिस की गाड़ी को गाइड किया। यह सब इसलिए करना पड़ा ताकि डॉक्टर्स या नर्सिंग स्टाफ के बीच तनाव उग्र न हो जाए। एसएसपी ने कहा कि उस वक्त परिस्थिति के हिसाब से जो भी किया गया, ठीक किया गया।