सिख धार्मिक संस्थानों को आरएसएस के नियंत्रण से मुक्त कराएं मोदी: सुखबीर

पटियाला : सोमवार दोपहर 45 डिग्री से अधिक तापमान होने के बावजूद एनके शर्मा के शक्ति प्रदर्शन में उपस्थित लोगों को संबोधित करते हुए शिरोमणि अकाली दल के अध्यक्ष सुखबीर सिंह बादल ने कहा कि अंग्रेज भी शिरोमणि कमेटी को नहीं तोड़ सके, लेकिन केंद्र सरकार ने ऐसा कर दिखाया है उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से सिख धार्मिक संगठनों को आरएसएस से आजादी देने की अपील की. उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री ने हाल ही में कहा था कि कैसे उनकी सरकार ने करतारपुर साहिब कॉरिडोर की स्थापना की थी और कहा था कि अगर आजादी के बाद भाजपा सत्ता में होती तो वह करतारपुर साहिब को पाकिस्तान में नहीं जाने देती. उन्होंने कहा कि यह सच हो सकता है, लेकिन यह भी सच है कि केंद्र सरकार ने सिखों के गुरुधामों, खासकर तख्त श्री हजूर साहिब और श्री पटना साहिब को आरएसएस को सौंप दिया है और दिल्ली सिख गुरुद्वारा प्रबंधन कमेटी का प्रभार भी उसके पास है. आरएसएस पर कब्ज़ा कर लिया गया है और शिरोमणि कमेटी को तोड़ दिया गया है और हरियाणा के लिए एक अलग कमेटी बनाई गई है।

सुखबीर बादल ने कहा कि ध्यान सिंह मंड, जसबीर सिंह रोडे और बलजीत सिंह दादूवाल जैसे लोग अकाली दल और शिरोमणि कमेटी को कमजोर करने में लगे हुए हैं और वे केंद्रीय एजेंसियों के लिए काम कर रहे हैं. ‘आप’ के बारे में बात करते हुए उन्होंने कहा कि उसके मंत्री बलकार सिंह के वायरल अश्लील वीडियो ने पंजाब की राजनीति में पतन का एक नया अध्याय जोड़ दिया है. उन्होंने कहा कि इससे पहले खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री लाल चंद कटारूचक का वीडियो सार्वजनिक किया गया था और उस समय सरकार ने मामले की जांच के लिए एसआईटी का गठन किया था, जिसके माध्यम से शिकायतकर्ता को धमकी दी गई थी और शिकायत वापस कर दी गई थी.

इस मौके पर एनके शर्मा ने बताया कि कैसे ‘आप’ सरकार ने पटियाला रिंग रोड के लिए 764 करोड़ रुपये की लागत से अधिग्रहीत की गई जमीन का किसानों को पर्याप्त मुआवजा नहीं दिया. उन्होंने कहा कि कांग्रेस और आप दोनों ने राजपुरा, घनौर, सनूर, शुतराना और देवीगढ़ इलाकों में बाढ़ को रोकने के लिए कोई कदम नहीं उठाया है। उन्होंने वादा किया कि वह पटियाला में एम्स जैसा अस्पताल स्थापित करने का प्रयास करेंगे। इस मौके पर वरिष्ठ नेता सुरजीत सिंह रखड़ा ने भी संबोधित किया।

इस मौके पर बीबी हरप्रीत कौर मुखमेलपुर, जसपाल सिंह बिट्टू चट्ठा, कबीर दास, अमरेंद्र बजाज, मक्खन सिंह लालका, चरणजीत सिंह बराड़, भूपिंदर सिंह शेखूपुरा, अमित राठी, जरनैल सिंह करतारपुर, सुरजीत सिंह गढ़ी, जसमेर सिंह लाछरू, लखवीर सिंह, कृष्णपाल शर्मा, अश्वनी शर्मा सवानाकी एवं अन्य गणमान्य लोग बड़ी संख्या में उपस्थित थे।