Medicine Ban: पैरासिटामोल और सिट्रीजॉन समेत 156 दवाओं पर बैन, जानें वजह

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देश के ज्यादातर घरों में मेडिकल इमरजेंसी किट और दवा का डिब्बा रहता है। उस दवा के डिब्बे में सर्दी-जुकाम, गैस और सिरदर्द जैसी आम दवाएं रखी जाती हैं। ऐसे में अगर आप भी अपने घर या कार में दवा का डिब्बा रखते हैं तो यह खबर आपके लिए है। केंद्र सरकार के स्वास्थ्य विभाग ने 156 एफडीसी दवाओं पर प्रतिबंध लगा दिया है। सरकार और स्वास्थ्य विभाग लंबे समय से इस दिशा में काम कर रहे थे। लोगों के स्वास्थ्य को ध्यान में रखते हुए एक बार फिर इन चुनिंदा और बेहद प्रचलित दवाओं पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। बताया जा रहा है कि इन दवाओं में मौजूद सॉल्ट का कॉम्बिनेशन आपके शरीर पर बुरा असर डाल सकता है।

डर का सबसे बड़ा कारण साइड इफेक्ट का खतरा

ड्रग एलर्जी के कारण आपका शरीर दवाइयों, अक्सर पेनिसिलिन के प्रति अत्यधिक प्रतिक्रिया करता है। अलग-अलग लोगों में लक्षण हल्के या गंभीर हो सकते हैं। ऐसे में अगर आपके घर में भी ये 156 दवाइयाँ हैं, तो आप उन्हें तुरंत घर से बाहर फेंक सकते हैं या फिर जिस मेडिकल स्टोर से आपने उन्हें खरीदा था, उसका बिल दिखाकर उन दवाओं को बदल सकते हैं। अपने परिवार के सदस्यों को जागरूक करें, डॉक्टरों और अन्य स्वास्थ्य और चिकित्सा विशेषज्ञों से बात करें और उसके बाद ही ऐसी मिक्स साल्ट वाली दवाइयाँ लें।

इन बीमारियों की 156 दवाओं पर प्रतिबंध

एफडीसी वो दवाइयां होती हैं जो दो या उससे ज़्यादा दवाओं के केमिकल (लवण) को एक तय अनुपात में मिलाकर बनाई जाती हैं। इस समय देश में ऐसी दवाइयों का इस्तेमाल बहुत बड़े पैमाने पर हो रहा है। आम बोलचाल में इन्हें कॉकटेल दवाइयां भी कहा जाता है। बुखार, जुकाम, एलर्जी, बदन दर्द, सिरदर्द और आई-फ्लू के इलाज में इस्तेमाल होने वाली 156 फिक्स्ड डोज कॉम्बिनेशन (एफडीसी) दवाइयों पर रोक लगा दी गई है। इन दवाइयों की बिक्री मेडिकल स्टोर पर नहीं होगी। सरकार से जुड़े सूत्रों का कहना है कि ये दवाइयां सेहत के लिए नुकसानदेह हो सकती हैं।

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा इस महीने की 12 तारीख को जारी अधिसूचना के अनुसार, सरकार ने फार्मा कंपनियों द्वारा निर्मित दर्द निवारक के रूप में इस्तेमाल की जाने वाली एसिक्लोफेनाक 50 mg + पैरासिटामोल 125 mg टैबलेट पर प्रतिबंध लगा दिया है। रिपोर्ट्स के अनुसार, सरकार ने पैरासिटामोल, ट्रामाडोल (सिरदर्द की दवा), टैरिन और कैफीन के कॉम्बिनेशन पर भी प्रतिबंध लगा दिया है। कुछ मल्टीविटामिन दवाएं भी इस दायरे में आ गई हैं। एसिक्लोफेनाक 50 mg + पैरासिटामोल 125 mg टैबलेट पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। यह बड़ी फार्मा कंपनियों द्वारा निर्मित दर्द निवारक दवाओं के सबसे लोकप्रिय कॉम्बिनेशन में से एक है।

चिकित्सा विशेषज्ञों के अनुसार

-पैरासिटामोल + पेंटाज़ोसीन का संयोजन भी प्रतिबंधित है। इसका उपयोग दर्द निवारण के लिए किया जाता है।

-लेवोसिटिरिज़िन + फिनाइलेफ्रीन का संयोजन भी प्रतिबंधित है। इसका उपयोग बहती नाक, छींकने या मौसमी हे फीवर या एलर्जी से संबंधित लक्षणों के इलाज के लिए किया जाता है।

-इसके अलावा लेवोसेटिरिज़िन से जुड़े कई अन्य संयोजन भी हैं। यह एक एंटीहिस्टामाइन है जो शरीर में बनने वाले हिस्टामाइन के प्रभाव को रोकता है।

-मैग्नीशियम क्लोराइड पर भी प्रतिबंध है। इसका उपयोग पोषण संबंधी कमियों के उपचार में किया जाता है।

-पैरासिटामोल, ट्रामाडोल, टॉरिन और कैफीन के संयोजन पर भी प्रतिबंध लगा दिया गया है। ट्रामाडोल एक ओपिओइड-आधारित दर्द निवारक है।

अपने परिवार को सुरक्षित कैसे रखें?

प्रिय पाठक, इस खबर को पढ़ने के लिए आपका धन्यवाद। हम आपसे अपील करते हैं कि अगर आपके घर में ऐसी कोई दवा है, तो घबराएं नहीं। निश्चिंत रहें और अपने डॉक्टर से उन दवाओं के बारे में बात करें। घबराने की कोई जरूरत नहीं है। आमतौर पर ऐसी दवा हर घर में मिल जाती है या फिर लोगों को डॉक्टर के पर्चे पर ये दवा दी जाती है। ऐसे में आपको घबराने की जरूरत नहीं है। जागरूक रहें और अपने डॉक्टर से बात करें। मेडिकल स्टोर से बिना पूछे कोई भी दवा न खरीदें। अपने फैमिली डॉक्टर या अन्य फिजीशियन द्वारा बताई गई दवा को ही सही मात्रा में लें। पहली खुराक में इस बात का ध्यान रखें कि आपको दवा का कोई साइड इफेक्ट महसूस न हो रहा हो। ऐसी कुछ सावधानियां बरतकर आप खुद को और अपने परिवार को सुरक्षित रख सकते हैं।