Janmashtami 2025: भगवान कृष्ण को अर्पित करें खसखस की स्वादिष्ट पंजीरी, पाएं विशेष कृपा
- by Archana
- 2025-08-16 17:02:00
News India Live, Digital Desk: Janmashtami 2025: जन्माष्टमी 2025 का पवित्र पर्व नजदीक है, जो भगवान श्री कृष्ण के जन्मोत्सव का प्रतीक है. इस शुभ अवसर पर भगवान कृष्ण को छप्पन भोग अर्पित करने की परंपरा है, जिसमें विभिन्न प्रकार के पकवान शामिल होते हैं. खसखस की पंजीरी उनमें से एक है, जिसे भगवान कृष्ण को अति प्रिय माना जाता है. यह पंजीरी न केवल स्वादिष्ट होती है, बल्कि पौष्टिक भी होती है और इसे जन्माष्टमी के विशेष भोग के लिए आदर्श माना जाता है. इसे बनाना बेहद आसान है और यह स्वास्थ्य के लिए भी लाभकारी है.
खसखस (पोस्ता दाना) में औषधीय गुण भी पाए जाते हैं. इसमें कैल्शियम, जिंक, फाइबर और ओमेगा-3 फैटी एसिड प्रचुर मात्रा में होता है. ये पोषक तत्व हृदय को स्वस्थ रखने, अच्छी नींद लाने, रक्तचाप को नियंत्रित करने और कब्ज से राहत दिलाने में मदद करते हैं. इसलिए खसखस की पंजीरी स्वास्थ्य और स्वाद का एक बेहतरीन संयोजन है, जिसे जन्माष्टमी के भोग के रूप में अवश्य बनाना चाहिए.
खसखस पंजीरी बनाने की विधि:
खसखस की पंजीरी बनाने के लिए आपको कुछ सरल सामग्री की आवश्यकता होगी, जिनमें एक चौथाई कप खसखस, दो कप भुनी हुई सूजी या आटा, आधा कप देसी घी, एक कप पिसी हुई चीनी या बूरा, चौथाई कप कटा हुआ नारियल, आधा कप सूखे मेवे (जैसे बादाम और काजू) और कुछ हरी इलायची का पाउडर शामिल हैं.
सबसे पहले, एक पैन में धीमी आंच पर खसखस को सूखा भून लें, जब तक वह हल्का सुनहरा और सुगंधित न हो जाए. इसे निकालकर एक तरफ रख दें. उसी पैन में देसी घी गरम करें और इसमें सूजी या आटे को धीमी आंच पर सुनहरा होने तक भूनें, लगातार चलाते रहें ताकि वह जले नहीं. भुनी हुई सूजी या आटे को भी अलग निकाल लें.
अब पैन में कटा हुआ नारियल डालकर हल्का सुनहरा होने तक भूनें. सूखे मेवों को भी हल्का सा भूनकर काट लें. सभी भुनी हुई सामग्री (खसखस, सूजी/आटा, नारियल और सूखे मेवे) को एक बड़े कटोरे में मिला लें. जब मिश्रण हल्का गरम रहे, तो इसमें पिसी हुई चीनी और इलायची पाउडर डालकर अच्छी तरह मिलाएं. यह सुनिश्चित करें कि चीनी पूरी तरह से मिक्स हो जाए.
आपकी खसखस पंजीरी तैयार है. इसे ठंडा होने दें और फिर जन्माष्टमी के दिन भगवान कृष्ण को भोग लगाएं. यह पंजीरी एयरटाइट कंटेनर में रखकर कई दिनों तक ताज़ी बनी रहती है. यह नुस्खा भगवान को प्रसन्न करने का एक पारंपरिक और स्वास्थ्यवर्धक तरीका है. जन्माष्टमी के पवित्र अवसर पर इस विशेष पंजीरी का भोग लगाकर आप भगवान कृष्ण का आशीर्वाद प्राप्त कर सकते हैं और घर में सुख-समृद्धि ला सकते हैं.
--Advertisement--
Tags:
Share:
--Advertisement--