फर्जी एनओसी से ऑर्गन ट्रांसप्लांट मामला: जांच के लिए जयपुर पुलिस ने की एसआईटी गठित

जयपुर, 14 मई (हि.स.)। जयपुर पुलिस ने राज्य सरकार के आदेश पर फर्जी एनओसी से ऑर्गन ट्रांसप्लांट मामले की जांच के लिए ने एसआईटी (विशेष जांच दल) गठन किया है। ऑर्गन ट्रांसप्लांट मामले में दर्ज तीनों एफआईआर की जांच एसआईटी करेगी। एसआईटी में 8 पुलिस अधिकारी और कॉन्स्टेबल करेंगे। एसआईटी की जांच की मॉनिटरिंग जयपुर पुलिस कमिश्नर बीजू जॉर्ज जोसफ करेंगे।

जयपुर कमिश्नर बीजू जॉर्ज जोसफ ने बताया कि ऑर्गन ट्रांसप्लांट मामले में हर दिन नई जानकारी टीम के पास आ रही है। इस पर पुलिस टीम के द्वारा काम किया जा रहा है। इस मामले की गंभीरता को देखते हुए एसआईटी का गठन कर दिया गया है। जिसमें जिम्मेदार पुलिस अधिकारी रहेंगे। जो पहले दिन से इस केस पर काम भी कर रहे हैं। एसआईटी में एसीपी गांधी नगर गोपाल सिंह ढाका और एसीपी पुलिस लाइन हेमराज मुंड, दो पुलिस निरीक्षक हवा सिंह मंगावा और भवानी सिंह, दो एएसआई मूल सिंह और धर्मेंद्र कुमार के साथ-साथ दो कांस्टेबल चैन सिंह और सुभाष चंद्र रहेंगे। इस केस की मॉनिटरिंग खुद जयपुर पुलिस कमिश्नर बीजू जॉर्ज जोसफ करेंगे।

गौरतलब हैै कि एसीबी ने एसएमएस हॉस्पिटल में 31 मार्च सहायक प्रशासनिक अधिकारी गौरव सिंह और ईएचसीसी हॉस्पिटल के ऑर्गन ट्रांसप्लांट को-ऑर्डिनेटर अनिल जोशी को लेनदेन करते रंगे हाथों पकड़ा था। टीम ने मौके से 70 हजार रुपए और 3 फर्जी एनओसी भी जब्त किए थे। कार्रवाई के बाद एसीबी ने आरोपियों के घर और अन्य ठिकानों पर भी सर्च किया था। इनकी गिरफ्तारी से खुलासा हुआ था कि फोर्टिस हॉस्पिटल का को-ऑडिनेटर विनोद सिंह भी कुछ समय पहले पैसा देकर फर्जी सर्टिफिकेट लेकर गया था। एसीबी ने उसे भी गिरफ्तार कर लिया था। बाद में जयपुर पुलिस ने इस केस में जांच शुरू कर दी थी। पुलिस इस मामले में फरार चल रहे मैड सफर के अन्य डायरेक्टर राज कमल व दलाल मोहम्मद मुर्तजा अंसारी को पकड़ने के लिए जयपुर पुलिस पश्चिम बंगाल के अलग-अलग ठिकानों पर छापेमारी कर रही है।