पाकिस्तान का दक्षिण-पश्चिमी क्षेत्र, खासकर बलूचिस्तान, हाल के दिनों में लगातार हिंसक हमलों का गवाह बन रहा है। 11 मार्च को जाफर एक्सप्रेस पर हुए हमले ने इस क्षेत्र में बढ़ती अस्थिरता को उजागर कर दिया है। इस घटना में बलूच लिबरेशन आर्मी (BLA) ने कथित तौर पर 21 लोगों की हत्या कर दी और ट्रेन के यात्रियों को बंधक बना लिया।
पाकिस्तानी सेना ने 50 हमलावरों को मार गिराने और यात्रियों को सुरक्षित बचाने का दावा किया, लेकिन दूसरी ओर, BLA ने पाक सेना के इन दावों को खारिज करते हुए 50 सैनिकों को मारने का दावा किया।
बलूचिस्तान लंबे समय से अलगाववादी विद्रोह का गढ़ रहा है, लेकिन यह हमला BLA की रणनीति में एक बड़ा बदलाव दर्शाता है। यह पहली बार था जब किसी विद्रोही संगठन ने पूरी यात्री ट्रेन को हाईजैक कर लिया और सुरक्षा बलों को खुली चुनौती दी। सवाल यह उठता है कि बलूचिस्तान में हिंसा क्यों बढ़ रही है और इसके पीछे असली कारण क्या हैं?
सीओ अनुज चौधरी की सुरक्षा को लेकर पिता ने उठाई मांग, संजय सिंह के बयान पर जताया एतराज
बलूचिस्तान: अशांति और विद्रोह की जड़ें
1. बलूचिस्तान: पाकिस्तान का सबसे उपेक्षित क्षेत्र
बलूचिस्तान पाकिस्तान का सबसे बड़ा प्रांत है, लेकिन यह सबसे कम आबादी वाला और आर्थिक रूप से पिछड़ा हुआ क्षेत्र भी है।
- यह क्षेत्र प्राकृतिक संसाधनों (गैस, तांबा, सोना) से समृद्ध है।
- स्थानीय बलूच समुदाय का आरोप है कि इसकी संपदा का फायदा केवल पाकिस्तान की केंद्रीय सरकार और सेना को मिलता है, जबकि स्थानीय लोग उपेक्षित रहते हैं।
- लंबे समय से यह असंतोष अलगाववादी आंदोलन का कारण बनता रहा है।
2. बलूच लिबरेशन आर्मी (BLA) की भूमिका
BLA पाकिस्तान में प्रतिबंधित एक विद्रोही संगठन है, जो बलूचिस्तान की स्वतंत्रता के लिए संघर्ष कर रहा है।
- यह 2000 के दशक से सक्रिय है और अब पाकिस्तानी सेना के खिलाफ आक्रामक रणनीति अपना रहा है।
- पहले BLA सैन्य ठिकानों और सरकारी संपत्तियों को निशाना बनाता था, लेकिन अब नागरिक ठिकानों और ट्रांसपोर्ट सिस्टम को भी टारगेट कर रहा है।
- जाफर एक्सप्रेस पर हमला BLA की नई और आक्रामक रणनीति को दर्शाता है।
3. चीन और CPEC भी हैं निशाने पर
BLA सिर्फ पाकिस्तानी सेना ही नहीं, बल्कि चीन के नागरिकों और उसके निवेश को भी निशाना बना रहा है।
- चीन-पाकिस्तान इकोनॉमिक कॉरिडोर (CPEC) बलूचिस्तान में कई बड़े प्रोजेक्ट्स चला रहा है।
- BLA का दावा है कि यह प्रोजेक्ट बलूच लोगों के लिए फायदेमंद नहीं है, बल्कि उनके संसाधनों का शोषण कर रहा है।
- पिछले कुछ वर्षों में BLA ने कई चीनी नागरिकों और CPEC प्रोजेक्ट्स पर हमले किए हैं।
BLA की बढ़ती ताकत और पाकिस्तान की चिंता
4. क्या BLA पाकिस्तान तालिबान (TTP) जितना खतरनाक हो गया है?
- विशेषज्ञों का मानना है कि BLA अब उतना ही खतरनाक हो गया है जितना पाकिस्तान तालिबान (TTP)।
- यह संगठन अब बलूचिस्तान से बाहर निकलकर कराची और अन्य बड़े शहरों में भी हमले कर रहा है।
5. भारत पर आरोप, ईरान से भी तनाव
- पाकिस्तान ने हमेशा की तरह BLA को भारत का समर्थन प्राप्त होने का आरोप लगाया है, जिसे भारत ने खारिज कर दिया।
- इसके अलावा, बलूचिस्तान में हिंसा का एक और कारण पाकिस्तान और ईरान के बीच बढ़ता तनाव भी है।
- हाल ही में दोनों देशों ने एक-दूसरे की सीमा पर हवाई हमले किए थे, जिससे सुरक्षा स्थिति और बिगड़ गई।
6. पाकिस्तान की अर्थव्यवस्था पर प्रभाव
- बलूचिस्तान में बढ़ती हिंसा का असर पाकिस्तान की डूबती अर्थव्यवस्था पर भी पड़ सकता है।
- विदेशी निवेशक पहले से ही देश की अस्थिरता से डरे हुए हैं, और इस तरह के हमले पाकिस्तान की छवि को और खराब कर सकते हैं।
हमले के राजनीतिक और सामाजिक प्रभाव
7. क्या BLA को स्थानीय समर्थन मिल रहा है?
कुछ सुरक्षा विश्लेषकों का मानना है कि BLA के इस हमले से उसकी छवि को नुकसान भी हो सकता है।
“बलूच जनता आमतौर पर निर्दोष नागरिकों पर हमलों का समर्थन नहीं करती। इस तरह की हिंसा BLA के लिए उलटी भी पड़ सकती है।” – सुरक्षा विशेषज्ञ सैयद मुहम्मद अली
आगे क्या होगा?
- पाकिस्तान सरकार ने BLA के खिलाफ कई सैन्य अभियान चलाए हैं, लेकिन कोई स्थायी समाधान नहीं निकला।
- BLA लगातार और ताकतवर होता जा रहा है, जिससे पाकिस्तान के लिए सुरक्षा संकट बढ़ता जा रहा है।