केजरीवाल की याचिका पर हाई कोर्ट ने सीबीआई को जारी किया नोटिस, 7 दिन में मांगा जवाब

कथित शराब घोटाले में केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) द्वारा गिरफ्तार किए गए और तीन दिन की रिमांड पर रखे गए दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की याचिका पर मंगलवार को दिल्ली उच्च न्यायालय में सुनवाई हुई। हाईकोर्ट ने आम आदमी पार्टी प्रमुख की गिरफ्तारी और रिमांड को दी गई चुनौती पर सीबीआई से जवाब मांगा है. इस मामले की अगली सुनवाई अब 17 जुलाई को होगी.

केजरीवाल की याचिका पर जस्टिस नीना बंसल कृष्णा की बेंच ने सुनवाई की. केजरीवाल के वकील अभिषेक मनु सिंघवी ने केजरीवाल की गिरफ्तारी पर सवाल उठाया और कहा कि एफआईआर 2022 में ही दर्ज की गई थी. अप्रैल 2023 में उन्हें समन किया गया और 9 घंटे तक पूछताछ की गई. तब से कुछ नहीं किया गया और अब केजरीवाल को गिरफ्तार कर लिया गया है. उन्होंने कहा कि गिरफ्तारी वारंट में कुछ कारणों का जिक्र करना जरूरी है.

कोर्ट ने सिंघवी से पूछा कि आप गिरफ्तारी रद्द करने और हिरासत से रिहाई की मांग कर रहे हैं? सिंघवी ने हां में जवाब दिया तो कोर्ट ने पूछा, क्या आपने जमानत याचिका दायर की है? सिंघवी ने जवाब दिया कि उन्होंने अभी तक ऐसा नहीं किया है, लेकिन करने जा रहे हैं. कोर्ट ने सीबीआई को नोटिस जारी कर जवाब दाखिल करने को कहा है. जज ने मामले को शनिवार को सूचीबद्ध करने को कहा.

 

बता दें कि केजरीवाल को 26 जून को तिहाड़ जेल से सीबीआई ने गिरफ्तार किया था. वह ईडी द्वारा दर्ज मनी लॉन्ड्रिंग मामले में न्यायिक हिरासत में थे। गिरफ़्तारी के बाद निचली अदालत ने केजरीवाल को तीन दिन की सीबीआई रिमांड पर भेज दिया. रिमांड खत्म होने के बाद जांच एजेंसी ने केजरीवाल को न्यायिक हिरासत में भेजने की अपील की, जिसे कोर्ट ने स्वीकार कर लिया.

केजरीवाल ने विशेष अदालत के 26 जून के आदेश को भी चुनौती दी है, जिसके तहत केजरीवाल को तीन दिन की सीबीआई रिमांड पर भेजा गया था. उन्होंने आरोप लगाया कि सीबीआई ने गिरफ्तारी के लिए गलत आधार तैयार किया. गिरफ्तारी का कोई कारण नहीं बताया गया. याचिका में कहा गया है कि उनकी गिरफ्तारी कथित तौर पर 4 जून से पहले सीबीआई के पास मौजूद सामग्री के आधार पर की गई थी। पहले से उपलब्ध सामग्री के आधार पर गिरफ्तारी अवैध है, जिसमें पुनर्मूल्यांकन भी शामिल है, जिसकी कानून द्वारा अनुमति नहीं है।