अंतरिक्ष में महीनों से ‘फंसी’ भारतीय मूल की एस्ट्रोनॉट सुनीता विलियम्स, 19 मार्च को लौटेंगी पृथ्वी

Sunita Williams 1725453106819 17

भारतीय मूल की अमेरिकी अंतरिक्ष यात्री सुनीता विलियम्स और उनके साथी बुच विल्मोर पिछले साल जून से अंतरिक्ष में हैं। महीनों तक स्पेस में रहने के बाद, दोनों अंतरिक्ष यात्री 19 मार्च को स्पेसएक्स के स्पेसक्राफ्ट के जरिए पृथ्वी पर लौटेंगे।

सुनीता विलियम्स के फैंस उनकी वापसी को लेकर बेहद उत्साहित हैं, लेकिन अंतरिक्ष में लंबा समय बिताने के कारण उनके स्वास्थ्य को लेकर भी चिंताएं बढ़ गई हैं। विशेषज्ञों का कहना है कि गुरुत्वाकर्षण के संपर्क में आने के बाद उनके शरीर को भारी चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा।

पृथ्वी पर लौटने के बाद सुनीता विलियम्स को किन स्वास्थ्य समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है?

अंतरिक्ष में लंबे समय तक रहने के बाद एस्ट्रोनॉट्स को गंभीर शारीरिक और स्वास्थ्य समस्याओं का सामना करना पड़ता है। विशेषज्ञों के मुताबिक, सुनीता विलियम्स को पृथ्वी के गुरुत्वाकर्षण के अनुकूल होने के लिए सावधानीपूर्वक निगरानी और पुनर्वास की जरूरत होगी।

1. शरीर को गुरुत्वाकर्षण के अनुरूप ढालने में होगी परेशानी

वैज्ञानिकों का कहना है कि गुरुत्वाकर्षण का असर शरीर पर तुरंत महसूस होगा।

  • तरल पदार्थ नीचे की ओर खिंचने लगेंगे, जिससे शरीर में सूजन और रक्तचाप में गिरावट हो सकती है।
  • साधारण गतिविधियां भी चुनौतीपूर्ण बन जाएंगी, जैसे कि एक पेंसिल उठाना भी अत्यधिक मेहनत जैसा महसूस होगा।

2. हड्डियों का घनत्व हो सकता है कम

अंतरिक्ष में माइक्रोग्रैविटी के कारण, एस्ट्रोनॉट्स की हड्डियां कमजोर हो जाती हैं क्योंकि उन्हें भार उठाने की जरूरत नहीं पड़ती।

  • लंबे समय तक अंतरिक्ष में रहने से हड्डियों का घनत्व कम हो जाता है, जिससे फ्रैक्चर का खतरा बढ़ जाता है।
  • यह समस्या विशेष रूप से पैरों, रीढ़ और कूल्हों की हड्डियों में देखी जाती है।

3. दिल और रक्त संचार प्रणाली पर असर

अंतरिक्ष में दिल को कम मेहनत करनी पड़ती है, जिससे वह धीरे-धीरे कमजोर हो सकता है।

  • माइक्रोग्रैविटी में हृदय थोड़ा सिकुड़ सकता है, जिससे पृथ्वी पर लौटने के बाद बेहोशी, चक्कर आना और निम्न रक्तचाप जैसी समस्याएं हो सकती हैं।
  • दिल के कम काम करने के कारण, लंबे समय तक एस्ट्रोनॉट्स को हृदय संबंधी बीमारियों का खतरा बना रहता है।

4. प्रतिरक्षा प्रणाली और दृष्टि पर प्रभाव

महीनों तक अंतरिक्ष में रहने के कारण एस्ट्रोनॉट्स को कमजोर प्रतिरक्षा प्रणाली और आंखों की समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है।

  • द्रव पुनर्वितरण के कारण दृष्टि कमजोर हो सकती है।
  • स्पेस रेडिएशन के लंबे समय तक संपर्क में रहने के कारण कैंसर जैसी बीमारियों का खतरा भी बढ़ सकता है।

क्या कहते हैं विशेषज्ञ?

हेल्थ साइट डॉट कॉम के अनुसार, स्पेस में बिताए गए समय के कारण सुनीता विलियम्स के शरीर में कई महत्वपूर्ण बदलाव हुए होंगे।

एक विशेषज्ञ ने कहा,
“अंतरिक्ष में मानव शरीर में महत्वपूर्ण परिवर्तन होते हैं। सुनीता विलियम्स, जिन्होंने लंबा समय माइक्रोग्रैविटी में बिताया है, के लिए पृथ्वी पर लौटने के बाद पुनः समायोजन प्रक्रिया में सावधानीपूर्वक निगरानी और पुनर्वास की आवश्यकता होगी।”

सुनीता विलियम्स की वापसी से पहले बढ़ी चिंता

हालांकि, सुनीता विलियम्स के प्रशंसक उनकी सुरक्षित वापसी के लिए प्रार्थना कर रहे हैं, लेकिन वैज्ञानिकों का मानना है कि उनकी असली चुनौती पृथ्वी पर लौटने के बाद शुरू होगी।

क्या वह जल्द ही अपने शरीर को गुरुत्वाकर्षण के अनुकूल कर पाएंगी? यह सवाल अब वैज्ञानिकों और उनके प्रशंसकों दोनों के लिए उत्सुकता का विषय बना हुआ है।