दिल्ली: अमेरिकी मॉडल बनकर 500 महिलाओं को ठगा, 200 से ज्यादा की निजी तस्वीरें और वीडियो ब्लैकमेलिंग के लिए इस्तेमाल

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दिल्ली पुलिस ने एक शातिर साइबर अपराधी को गिरफ्तार किया है, जो खुद को अमेरिकी मॉडल बताकर ऑनलाइन डेटिंग ऐप्स और सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स के जरिए महिलाओं और युवतियों को अपने जाल में फंसाता था। आरोपी ने न केवल महिलाओं से निजी तस्वीरें और वीडियो हासिल किए, बल्कि उन्हें ब्लैकमेल कर पैसे भी वसूले।

कैसे हुआ खुलासा?

शकरपुर इलाके से पकड़े गए आरोपी तुषार बिष्ट की गिरफ्तारी तब हुई, जब दिल्ली विश्वविद्यालय की एक छात्रा ने साइबर थाने में शिकायत दर्ज कराई। पीड़िता ने बताया कि जनवरी 2024 में बम्बल डेटिंग ऐप पर उसकी मुलाकात एक शख्स से हुई, जिसने खुद को अमेरिका का मॉडल और फ्रीलांसर बताया। बातचीत बढ़ने पर आरोपी ने स्नैपचैट और व्हाट्सऐप पर पीड़िता से निजी तस्वीरें और वीडियो मांगे।

बाद में आरोपी ने इन्हीं तस्वीरों और वीडियो के जरिए छात्रा को ब्लैकमेल करना शुरू कर दिया। पैसे की लगातार बढ़ती मांग से तंग आकर पीड़िता ने परिवार को घटना की जानकारी दी और पुलिस में शिकायत दर्ज कराई।

दो वर्षों से कर रहा था साइबर ठगी

पुलिस की जांच में पता चला कि तुषार बिष्ट पिछले दो सालों से इस साइबर अपराध को अंजाम दे रहा था। वह बम्बल, स्नैपचैट जैसे ऐप्स पर अंतरराष्ट्रीय वर्चुअल मोबाइल नंबर और फर्जी पहचान का इस्तेमाल कर प्रोफाइल बनाता था। अपनी प्रोफाइल पर उसने खुद को अमेरिकी मॉडल बताया और ब्राजील के एक मॉडल की तस्वीर का इस्तेमाल किया।

500 से ज्यादा महिलाओं से संपर्क, 200 से ज्यादा का डाटा बरामद

पुलिस उपायुक्त विचित्र वीर ने बताया कि आरोपी के फोन से 500 से ज्यादा महिलाओं के साथ हुई चैटिंग का डाटा बरामद किया गया। इसके अलावा, 200 से ज्यादा महिलाओं की निजी तस्वीरें और वीडियो भी उसके पास से मिले हैं। आरोपी के पास दिल्ली-एनसीआर की 60 महिलाओं के संपर्क नंबर और चैट का रिकॉर्ड भी मिला।

कैसे करता था ठगी?

  • फर्जी प्रोफाइल: आरोपी ने कई डेटिंग और चैटिंग ऐप्स पर अपनी फर्जी प्रोफाइल बनाई।
  • अमेरिकी मॉडल का झांसा: वह खुद को अमेरिका में रहने वाला फ्रीलांसर मॉडल बताता था।
  • चालाकी से महिलाओं को फंसाना: बातचीत के दौरान महिलाओं का विश्वास जीतता और निजी तस्वीरें व वीडियो मंगवाता।
  • ब्लैकमेलिंग: सामग्री हासिल करने के बाद महिलाओं को धमकी देकर पैसे वसूलता।

पकड़ में कैसे आया आरोपी?

एसीपी अरविंद कुमार और इंस्पेक्टर धर्मेंद्र की टीम ने तकनीकी जांच और बैंक खातों की ट्रैकिंग के जरिए आरोपी का पता लगाया। पुलिस ने आरोपी के बैंक खातों और उनसे जुड़े मोबाइल नंबर की जानकारी जुटाई। इसके बाद शकरपुर स्थित घर पर छापा मारकर 23 वर्षीय तुषार बिष्ट को गिरफ्तार कर लिया गया।

गिरफ्तारी में बरामद सामग्री

  • 200 से ज्यादा महिलाओं के निजी तस्वीरें और वीडियो।
  • 13 क्रेडिट कार्ड।
  • वर्चुअल मोबाइल नंबर से जुड़े ऐप्स।
  • ब्लैकमेलिंग में इस्तेमाल हुआ मोबाइल फोन।

आरोपी की पृष्ठभूमि

तुषार बिष्ट नोएडा की एक निजी कंपनी में काम करता था। बीबीए की पढ़ाई पूरी करने के बाद वह तीन वर्षों से नौकरी कर रहा था। आरोपी का परिवार साधारण जीवन जीता है—पिता प्राइवेट कार चालक हैं, मां गृहिणी हैं, और बहन गुरुग्राम में काम करती है। जल्दी पैसा कमाने के लालच में तुषार ने साइबर अपराध का रास्ता चुना।

साइबर अपराध के बढ़ते मामले

यह घटना एक गंभीर चेतावनी है कि साइबर अपराधी किस तरह सोशल मीडिया और डेटिंग ऐप्स का इस्तेमाल कर लोगों को फंसाते हैं। महिलाओं को विशेष रूप से सतर्क रहने और अपनी निजी जानकारी या सामग्री साझा करने से बचने की जरूरत है।

पुलिस की अपील

पुलिस ने महिलाओं से अपील की है कि अगर वे इस तरह की किसी घटना का सामना करती हैं, तो तुरंत शिकायत दर्ज कराएं। तकनीकी जांच और त्वरित कार्रवाई से आरोपी को पकड़ने में आसानी होती है।