कांग्रेस पहले जाति के आधार पर, फिर धर्म के आधार पर और अब नस्ल के आधार पर तोड़ना चाहती है भारत कोः घनश्याम तिवाड़ी


जयपुर, 9 मई (हि.स.)। भाजपा के वरिष्ठ नेता घनश्याम तिवाड़ी ने ओवरसीज कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष सैम पित्रोदा द्वारा नॉर्थ ईस्ट और दक्षिण भारतीयों पर दिए गए नस्लभेदी बयान की कड़ी निंदा की। तिवाड़ी ने कहा कि भाजपा और कांग्रेस के मूल में यही अंतर है कि भाजपा भारत को एक राष्ट्र मानती है जबकि कांग्रेस भारत को अलग-अलग राष्ट्रों का समूह मानती है। भाजपा की स्थापना के बाद मुंबई के शिवाजी पार्क में श्रद्धेय अटल बिहारी वाजपेयी ने पंच निष्ठाओं के माध्यम से बताया था कि भाजपा एक जन, एक राष्ट्र और एक संस्कृति के ध्येय वाक्य को मानने वाली पार्टी हैं।

राज्यसभा सांसद घनश्याम तिवाड़ी गुरुवार को भाजपा प्रदेश मुख्यालय पर पत्रकारों से चर्चा कर रहे थे। उन्होंने कहा कि जिस तरह से कांग्रेस देश में धर्म, जाति और क्षेत्र की राजनीति करती आ रही है, उसी तरह अब नस्लभेदी राजनीति भी करने लगी है। राहुल गांधी और प्रियंका गांधी के थिंक टैंक सैम पित्रोदा का बयान कांग्रेस पार्टी की विचारधारा और नीति से मेल खाता है। सैम पित्रोदा का मूल नाम सत्यनारायण गंगाराम पित्रोदा था, लेकिन उन्हें ना ही सत्य नारायण शब्द पसंद आया और ना ही गंगाराम। उन्होंने अपने नाम को ही सैम कर दिया। पित्रोदा ने आसाम और पूर्वोत्तर के लोगों को चीनी लोगों जैसा दिखने वाला बताया और दक्षिण भारत के लोगों को दक्षिण अफ्रीकी नस्ल वाला बताया। पित्रोदा का यह बयान नस्लवादी दृष्टिकोण के साथ भारत को बांटने वाला है।

राज्यसभा सांसद घनश्याम तिवाड़ी ने कहा कि ‘‘हिमालयात् समारभ्य यावत् इन्दु सरोवरम्। तं देवनिर्मितं देशं हिन्दुस्थान प्रचक्षते‘‘ अर्थात हिमालय के ‘हि‘ शब्द से तथा इन्दुसागर के ‘न्दु‘ शब्द को मिलाकर हिन्दुस्तान नाम रखा गया है। हिमालय से शुरू होकर कन्याकुमारी तक जो भू-भाग है वह पूरा हिन्दुस्तान है। भारत की ये संस्कृति कांग्रेस को पसंद नहीं आती। कांग्रेस के लोग भारत को दक्षिण, तमिल, उत्तर के आधार पर बांटना चाहते है। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता डी के शिवकुमार ने दक्षिण को अलग राष्ट्र बनाने तक की सिफारिश की थी। कांग्रेस की सहयोगी पार्टी के एक नेता ने राज्यसभा में भारत को कई राष्ट्रों का समूह बताया, जिसका मैंने विरोध किया था। इससे स्पष्ट है कि कांग्रेस पहले जाति के आधार पर, फिर धर्म के आधार पर और अब नस्ल के आधार पर देश को तोड़ना चाहती है। कांग्रेस का हाल ऐसा है कि ‘‘उम्र भर गालिब यही भूल करता रहा, धूल चेहरे पर थी और आईने को साफ करता रहा’’। कांग्रेस के चेहरे पर जो नकाब था वो अब हट गया है।

राज्यसभा सांसद घनश्याम तिवाड़ी ने कहा कि सैम पित्रोदा का बयान जिसमें उन्होंने असम के लोगों को चीनी नस्ल का बताया था, यह बयान आसाम के लाचित बरफूकन जैसे वीर सेनापति का अपमान है वहीं दक्षिण भारत के लोगों को दक्षिण अफ्रीकी नस्ल का बताना चोल राजाओं का अपमान है। पित्रोदा का बयान भारत के वेदों, शंकराचार्यों और संस्कृति का अपमान है। कांग्रेस भारत को तोड़ने में लग रही है। कांग्रेस पार्टी भारत के राष्ट्र के एकाग्रता के साथ विश्वासघात कर रही है।