पेगासस स्पाइवेयर केस: मेटा के मैसेजिंग ऐप व्हाट्सएप ने पेगासस स्पाइवेयर को लेकर अमेरिकी अदालत में एनएसओ ग्रुप टेक्नोलॉजीज के खिलाफ एक बड़ी कानूनी लड़ाई जीत ली है। एनएसओ ग्रुप पर मई 2019 में दो सप्ताह में पेगासस स्पाइवेयर से 1,400 लोगों के फोन हैक करने का आरोप लगाया गया था। इसमें पत्रकार, मानवाधिकार कार्यकर्ता और सरकारी अधिकारी शामिल हैं।
जानिए क्या मायने रखता है
पेगासस स्पाइवेयर किसी भी फोन या इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस पर गुप्त रूप से निगरानी रखने और जानकारी एकत्र करने के लिए जाना जाता है। इसका इस्तेमाल व्हाट्सएप द्वारा लोगों से जुड़ी जानकारी चुराने के लिए किया जाता था।
अमेरिकी जिला न्यायाधीश फिलिस हैमिल्टन ने एनएसओ ग्रुप को राज्य और संघीय हैकिंग कानूनों का उल्लंघन करने का दोषी पाते हुए व्हाट्सएप के पक्ष में फैसला सुनाया है। अदालत ने यह भी कहा, ‘एनएसओ ग्रुप ने व्हाट्सएप की सेवा शर्तों और यूएस कंप्यूटर धोखाधड़ी और दुरुपयोग अधिनियम का उल्लंघन किया है, जिससे स्पाइवेयर निर्माता को बड़ा झटका लगा है।’
फैसले में डिस्ट्रिक्ट जज फीलिस हैमिल्टन ने कहा, ‘एनएसओ ग्रुप ने कानूनी प्रक्रिया में बाधा डाली क्योंकि उसने व्हाट्सएप को पेगासस स्पाइवेयर का सोर्स कोड उपलब्ध नहीं कराया, जबकि उसे 2024 की शुरुआत में ऐसा करने का आदेश दिया गया था। इसके बजाय, कंपनी ने कोड को केवल इज़राइल में उपलब्ध कराया और इसे केवल इज़राइली नागरिकों तक ही सीमित रखा।’
विशेष रूप से, एनएसओ ग्रुप को अब मार्च 2025 में जूरी ट्रायल का सामना करना पड़ेगा ताकि यह निर्धारित किया जा सके कि व्हाट्सएप को कितना मुआवजा देना चाहिए।