यूपी में वोटिंग से पहले हुआ बड़ा ‘खेल’! क्षत्रिय बाहुबली नेता के दावे से बढ़ी बीजेपी की टेंशन!

लोकसभा चुनाव 2024: एक तरफ जहां लोकसभा चुनाव अपने अंतिम चरण में है, वहीं उत्तर प्रदेश की राजनीति और भी रोमांचक होती जा रही है। यूपी की राजनीति में अच्छा खासा प्रभाव रखने वाले प्रतापगढ़ जिले के कुंडा से विधायक और जनसत्ता दल (डेमोक्रेटिक) के मुखिया रघुराज प्रताप सिंह उर्फ ​​राजा भैया ने आखिरी दांव खेल दिया है और उन्होंने मिर्ज़ापुर लोकसभा सीट से समाजवादी पार्टी को समर्थन देने का ऐलान कर दिया है. माना जा रहा है कि राजा भैया के इस ऐलान से न सिर्फ मिर्ज़ापुर सीट बल्कि पूर्वांचल की कई सीटों पर भारतीय जनता पार्टी को नुकसान हो सकता है. अब जिन सीटों पर बीजेपी हार सकती है उनमें प्रतापगढ़, जौनपुर, मिर्ज़ापुर और इलाहाबाद सीटें शामिल हैं. 

एनडीए नेता राजा भैया पर हमला

पिछले कुछ दिनों से एनडीए नेता राजा भैया पर हमलावर नजर आ रहे हैं. जिसमें केंद्रीय मंत्री अनुप्रिया पटेल और रामदास आठवले शामिल हैं. कौशांबी और प्रतापगढ़ में चुनाव प्रचार के दौरान अनुप्रिया पटेल ने राजा भैया पर हमला बोला. उन्होंने कहा, कुछ लोग कुंडा को अपनी जागीर समझते हैं और उन्हें सबक सिखाने का यह सुनहरा मौका है. पिछले बुधवार को रामदास आठवले ने अनुप्रिया पटेल के बयान को सही ठहराया था और राजा भैया पर निशाना साधा था. ऐसे में कयास लगाए जा रहे थे कि राजा भैया के खिलाफ जुबानी जंग बीजेपी को महंगी पड़ सकती है और अब वही हुआ. 

राजा भैया और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के बीच मुलाकात हुई

कुछ हफ्ते पहले राजा भैया और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के बीच मुलाकात हुई थी. इसके बाद कयास लगाए जा रहे थे कि बीजेपी को राजा भैया का समर्थन मिल सकता है. लेकिन दौरे के कुछ दिन बाद ही राजा भैया ने अपने समर्थकों के बीच ऐलान कर दिया कि वे अपनी मर्जी के उम्मीदवार को वोट दें. राजा भैया का समर्थन मिलना समाजवादी पार्टी के लिए किसी बड़े फायदे से कम नहीं है. क्योंकि अभी यूपी की जिन 27 सीटों पर मतदान होना है वहां क्षत्रिय मतदाताओं का दबदबा है और राजा भैया ठाकुरों के बड़े नेताओं में से एक हैं. हालांकि राजा भैया की पार्टी किसी भी लोकसभा सीट पर चुनाव नहीं लड़ रही है, लेकिन वह चुनावी बहसों में लगातार बने हुए हैं और इससे उनकी ताकत का पता चलता है.