समाजवादी पार्टी (सपा) के विधायक अबू आजमी, जो हाल ही में महाराष्ट्र विधानसभा से निलंबित किए गए थे, ने होली और रमजान के दौरान जुमे की नमाज को लेकर एक बड़ी अपील की है।
उन्होंने कहा कि इस साल होली रमजान के दौरान पड़ रही है, ऐसे में अगर किसी मुस्लिम भाई पर रंग पड़ जाए, तो इसे लेकर झगड़ा न करें, बल्कि इसे भाईचारे और क्षमा का महीना मानकर स्वीकार करें।
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“त्योहारों का राजनीतिकरण न करें” – अबू आजमी
अबू आजमी ने होली से पहले मस्जिदों को तिरपाल से ढकने के मुद्दे पर कहा कि त्योहारों को राजनीतिक मुद्दा न बनाया जाए।
- “हमारे देश में हमेशा से गंगा-जमुनी तहजीब रही है। सभी को मिलकर त्योहार मनाना चाहिए।”
- “होली मनाने वाले सभी लोग इसे उत्साहपूर्वक मनाएं, लेकिन बिना सहमति के किसी भी मुसलमान पर रंग न फेंके।”
- “अगर जरूरत पड़े तो मजबूरी में घर पर नमाज पढ़ी जा सकती है, लेकिन मस्जिद में जुमे की नमाज पढ़ना बहुत जरूरी है।”
हिंदू समुदाय से भी किया अनुरोध
अबू आजमी ने हिंदू समुदाय से भी खास अपील की:
“त्योहार को खुशी से मनाएं, लेकिन जानबूझकर किसी मुसलमान पर रंग न डालें।”
उन्होंने कहा कि 14 मार्च को रमजान भी है और होली भी, ऐसे में कई लोग जो सालभर नमाज नहीं पढ़ते, वे रमजान के दौरान मस्जिद जाते हैं क्योंकि इसकी अहमियत बहुत ज्यादा है।
“होली के दिन जुमे की नमाज टालना नहीं चाहिए”
- अबू आजमी ने इस बात पर जोर दिया कि होली के दिन भी जुमे की नमाज जरूर पढ़ी जानी चाहिए।
- उन्होंने कहा कि भारत में हर धर्म के लोगों को अपने धार्मिक रीति-रिवाजों को मानने का अधिकार है।
- इसलिए उन्होंने हिंदू समुदाय से अपील की कि वे कोई ऐसा काम न करें जिससे किसी को तकलीफ पहुंचे।