692000KM स्पीड…980 डिग्री तापमान क्षमता, आज सूर्य के करीब से गुजरेगा अंतरिक्ष यान

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नासा का एक अंतरिक्ष यान आज चमकते सूरज के बेहद करीब से गुजरा। ऐसा करके नासा ने एक ऐसा रिकॉर्ड बनाया है जो आज तक कोई नहीं बना पाया है और भविष्य में भी शायद ही कोई बना पाएगा। आइए इस बारे में विस्तार से बात करते हैं…

 

अंतरिक्ष में चमकने वाला सूर्य जहां पृथ्वी के लिए जीवनरक्षक है, वहीं सूर्य पृथ्वी को नष्ट करने में भी सक्षम है। आज तक कोई भी इस तारे के करीब भी नहीं जा सका है, लेकिन अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा के अंतरिक्ष यान पार्कर सोलर प्रोब (पीएसपी) ने यह उपलब्धि हासिल की है। जी हां, अंतरिक्ष यान आज 24 दिसंबर 2024 को सुबह करीब 7 बजे चमकते सूरज के बेहद करीब से गुजरा।

पार्कर सोलर प्रोब (पीएसपी) अंतरिक्ष यान ने सूर्य के बाहरी वातावरण से होकर यात्रा की। यह सूर्य की सतह से 3.8 मिलियन मील (6.1 मिलियन किलोमीटर) दूर रहा। इस अवधि के दौरान अंतरिक्ष यान की गति 430,000 मील प्रति घंटा (692,000 किलोमीटर प्रति घंटा) थी। यह किसी मानव निर्मित वस्तु द्वारा किसी तारे के सबसे करीब से गुजरने का रिकॉर्ड है, जो पहले किसी ने नहीं किया है और भविष्य के बारे में भी कुछ नहीं कहा जा सकता है।

ऐसे तापमान को झेलने में सक्षम अंतरिक्ष यान

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, इस दूरी को तय करते समय अंतरिक्ष यान ने सूर्य के उच्च तापमान का अध्ययन करने के लिए डेटा एकत्र किया। सूर्य के सबसे करीब से गुजरने के लिए, अंतरिक्ष यान को 1800 डिग्री फ़ारेनहाइट (980 डिग्री सेल्सियस) तक के तापमान का सामना करने के लिए डिज़ाइन किया गया था। इसका हीट शील्ड कार्बन फोम से बना था, जो 1377 डिग्री सेल्सियस तक तापमान झेलने में सक्षम था। परीक्षण के बाद ही इस फोम से ढाल बनाई गई। अंतरिक्ष यान अब 22 मार्च 2025 और 19 जून 2025 को सूर्य के बेहद करीब से गुजरेगा।

 

 

 

मनुष्य द्वारा बनाई गई अब तक की सबसे तेज़ चीज़

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, अंतरिक्ष यान को जॉन्स हॉपकिन्स एप्लाइड फिजिक्स लेबोरेटरी (JHUAPL) में डिजाइन किया गया था। अंतरिक्ष यान को सूर्य के बाहरी कोरोना का अध्ययन करने के लिए 12 अगस्त, 2018 को फ्लोरिडा, अमेरिका के केप कैनावेरल वायु सेना स्टेशन से लॉन्च किया गया था। यह सूर्य के वायुमंडल में सीधे जाने वाला पहला अंतरिक्ष यान है। यह सूर्य की सतह से लगभग 4 मिलियन मील दूर होगा। यह सूर्य के चारों ओर अण्डाकार कक्षा में घूमेगा।

यह अंतरिक्ष यान अब तक की सबसे तेज़ मानव निर्मित वस्तु है। अंतरिक्ष यान सूर्य के कोरोना की संरचना, चुंबकीय क्षेत्र और सौर हवा के साथ-साथ उनकी गतिविधियों का भी अध्ययन करेगा। इससे अंतरिक्ष में मौसम और पृथ्वी पर उसके प्रभाव के बारे में जानकारी मिलेगी। यह सूर्य की बाहरी परत से उत्पन्न होने वाले सौर तूफानों के बारे में भी जानकारी प्रदान करेगा, क्योंकि ये सौर तूफान उपग्रहों और इलेक्ट्रॉनिक गैजेट्स को प्रभावित करते हैं।