इजरायल ने गाजा में पानी से जुड़े नरसंहार के आरोपों को सिरे से नकार दिया है। इजरायल का कहना है कि वह गाजा के निवासियों के लिए सुरक्षित और पर्याप्त पानी की आपूर्ति सुनिश्चित कर रहा है। इस प्रक्रिया की निगरानी यूनिसेफ कर रहा है।
हाल ही में ऐसी रिपोर्टें आई थीं, जिनमें आरोप लगाया गया था कि इजरायल गाजा के लोगों को साफ पानी से वंचित कर नरसंहार कर रहा है। इन दावों का खंडन करते हुए इजरायल ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर एक वीडियो शेयर किया, जिसमें खान यूनिस स्थित एक जल शोधन संयंत्र को दिखाया गया। वीडियो में बताया गया है कि इजरायल इस प्लांट के लिए बिजली की आपूर्ति में सहयोग कर रहा है, जिससे गाजा के निवासियों को स्वच्छ पानी मिल सके। यह प्लांट अपनी पूरी क्षमता से काम करने पर प्रतिदिन 20,000 क्यूबिक मीटर पानी को शुद्ध कर सकता है।
ह्यूमन राइट्स वॉच का आरोप
अल जज़ीरा की रिपोर्ट के मुताबिक, ह्यूमन राइट्स वॉच ने अपनी 184 पन्नों की रिपोर्ट में इजरायल पर गाजा में फिलिस्तीनियों को साफ पानी से वंचित करने और इसे नरसंहार के रूप में वर्णित करने का आरोप लगाया है। रिपोर्ट में कहा गया है कि अक्टूबर 2023 में गाजा पर इजरायल के हमले के बाद से ही गाजा पट्टी के लोगों को स्वच्छ पानी उपलब्ध नहीं कराया जा रहा है।
इजरायल का जवाब
इजरायल ने इन आरोपों का खंडन करते हुए एक्स पर कहा कि गाजा में तीन पानी की लाइनों के माध्यम से नियमित रूप से पानी की आपूर्ति हो रही है। उत्तरी गाजा में प्रति व्यक्ति औसतन 107 लीटर, मध्य गाजा में 34 लीटर, और दक्षिणी गाजा में 20 लीटर पानी उपलब्ध कराया जा रहा है। यह आंकड़ा अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुसार संघर्ष क्षेत्र में आवश्यक प्रति व्यक्ति 15 लीटर पानी की न्यूनतम सीमा से अधिक है।
एक्स पर साझा एक अन्य पोस्ट में इजरायल ने बताया कि वह गाजा में मानवीय सहायता की निगरानी कर रहा है और कई स्थानों पर पानी की आपूर्ति के बुनियादी ढांचे की मरम्मत भी करवाई है।
COGAT का योगदान
गाजा में सरकारी गतिविधियों के समन्वय के लिए इजरायल की इकाई COGAT ने भी स्थिति पर प्रतिक्रिया दी। इकाई ने बताया कि उसने यूनिसेफ के साथ मिलकर गाजा के निवासियों के लिए पानी की सुरक्षित पहुंच सुनिश्चित की है। इसके तहत गाजा के उत्तरी और दक्षिणी हिस्सों में पानी के सैकड़ों बुनियादी ढांचे की मरम्मत कराई गई। साथ ही, उन पानी की लाइनों को भी ठीक किया गया जो हमास के हमलों में क्षतिग्रस्त हो गई थीं। इनमें से कुछ मरम्मत कार्य तो गोलीबारी के दौरान भी किए गए।
इजरायल ने यह स्पष्ट किया है कि गाजा में मानवीय सहायता उसकी प्राथमिकता है और वह किसी भी तरह के नरसंहार के आरोपों को निराधार मानता है। दूसरी तरफ, मानवाधिकार संगठनों और अंतरराष्ट्रीय समुदाय में यह मुद्दा अब भी चर्चा का विषय बना हुआ है।