भारत सीरीज प्लेट (BH): जानिए BH सीरीज नंबर प्लेट लगवाने के लिए क्या हैं शर्तें और फीस

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भारत के सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय ने 2021 में भारत सीरीज नंबर प्लेट लॉन्च की थी। इसे लॉन्च हुए तीन साल हो चुके हैं, लेकिन ज्यादातर लोगों को इस नंबर के बारे में ज्यादा जानकारी नहीं है। इसीलिए यहां हम आपके लिए भारत सीरीज (BH) नंबर प्लेट से जुड़े हर सवाल का जवाब लेकर आए हैं।

इस लेख में सवाल-जवाब के ज़रिए हम जानेंगे कि BH सीरीज नंबर प्लेट के क्या-क्या फायदे हैं? क्या आप भी इसे अपनी गाड़ी में लगवा सकते हैं? इसके लिए कितनी फीस देनी होगी? आप इसके लिए कैसे आवेदन कर सकते हैं?

बीएच नंबर प्लेट के लाभ

बीएच नंबर प्लेट का सबसे बड़ा फायदा यह है कि यह पूरे देश में मान्य है। वाहन मालिकों को अब एक राज्य से दूसरे राज्य में शिफ्ट होने पर अपने वाहनों को फिर से पंजीकृत करने की समय लेने वाली और कागजी कार्रवाई वाली प्रक्रिया से गुजरने की ज़रूरत नहीं है।

यह विशेष रूप से उन व्यक्तियों के लिए लाभदायक है जो स्थानांतरणीय नौकरियों में लगे हैं और बार-बार स्थानान्तरित होते रहते हैं, जैसे सरकारी कर्मचारी या कई राज्यों में कार्यरत निजी क्षेत्र के कर्मचारी।

सुविधा के अलावा, बीएच नंबर प्लेट सुरक्षा को भी बढ़ाती है। प्रत्येक वाहन को एक विशिष्ट पहचान संख्या मिलती है, जो अधिकारियों को चोरी हुए वाहनों को अधिक कुशलता से ट्रैक करने और पुनर्प्राप्त करने में मदद कर सकती है।

प्रणाली की एकरूपता से वाहन डेटा और पंजीकरण संबंधी मुद्दों में विसंगतियां भी कम हो जाती हैं, जो विभिन्न राज्य प्राधिकरणों के बीच उत्पन्न हो सकती हैं।

बीएच नंबर प्लेट के लिए कौन पात्र है?

बीएच नंबर प्लेट हर किसी के लिए उपलब्ध नहीं है; केवल कुछ श्रेणियों के व्यक्ति ही इसके लिए पात्र हैं। इनमें शामिल हैं:

  • ‘केन्द्र या राज्य सरकार’ के कर्मचारी या ‘प्रशासनिक विभागों’ में कार्यरत कर्मचारी।
  • चार या अधिक ‘राज्यों या केंद्र शासित प्रदेशों’ में कार्यालय रखने वाली ‘बैंकों और निजी कंपनियों’ के कर्मचारी।

यह लक्षित पात्रता सुनिश्चित करती है कि यह प्रणाली विशेष रूप से उन लोगों के लिए लाभदायक है, जो अपनी नौकरी के कारण नियमित रूप से स्थानांतरित होते रहते हैं।

बीएच नंबर प्लेट के लिए आवेदन कैसे करें

बीएच नंबर प्लेट के लिए आवेदन करना एक सीधी प्रक्रिया है, लेकिन आवेदकों को कुछ खास आवश्यकताओं को पूरा करना होगा। सबसे पहले और सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि वाहन के पास वैध प्रदूषण नियंत्रण (PUC) प्रमाणपत्र होना चाहिए। इसके अतिरिक्त, भारत सीरीज के तहत पंजीकरण के लिए पात्र होने के लिए रोड टैक्स का पूरा भुगतान किया जाना चाहिए।

आवेदक आधिकारिक वाहन पंजीकरण पोर्टल के माध्यम से आवेदन कर सकते हैं, यह सुनिश्चित करते हुए कि वे सभी आवश्यक दस्तावेज जमा करते हैं और पात्रता मानदंडों को पूरा करते हैं। सुव्यवस्थित आवेदन प्रक्रिया को वाहन पंजीकरण से जुड़ी सामान्य नौकरशाही को कम करने के लिए डिज़ाइन किया गया है।

बीएच नंबर प्लेट के लिए शुल्क

बीएच नंबर प्लेट प्राप्त करने की फीस वाहन की कीमत के आधार पर अलग-अलग होती है। दरें इस प्रकार हैं:

  • 10 लाख रुपये से कम कीमत वाले वाहनों के लिए शुल्क वाहन की कीमत का 8% है।
  • 10 लाख रुपये से 20 लाख रुपये तक की कीमत वाले वाहनों के लिए शुल्क वाहन की कीमत का 10% है।
  • 20 लाख रुपये से अधिक कीमत वाले वाहनों के लिए शुल्क वाहन की कीमत का 12% है।

ये शुल्क निष्पक्षता सुनिश्चित करने के लिए निर्धारित किए गए हैं तथा वाहन की लागत के अनुपात में हैं, जिससे यह प्रणाली विभिन्न आर्थिक वर्गों में सुलभ हो जाती है।

भारत में वाहन पंजीकरण का भविष्य

‘भारत सीरीज नंबर प्लेट’ की शुरूआत प्रशासनिक प्रक्रियाओं को सरल बनाने और व्यापार को आसान बनाने के भारत के व्यापक प्रयासों का हिस्सा है।

इससे राज्य की सीमाओं के पार वाहन प्रबंधन को सुव्यवस्थित करने की उम्मीद है, जिससे अक्सर आवागमन करने वाले वाहन मालिकों को बहुत ज़रूरी राहत मिलेगी। पुनः पंजीकरण की आवश्यकता को कम करने से राज्य परिवहन विभागों पर प्रशासनिक बोझ भी कम होगा।

जैसे-जैसे बीएच नंबर प्लेटों का उपयोग बढ़ रहा है, यह भारत की वाहन पंजीकरण प्रणाली के आधुनिकीकरण में एक महत्वपूर्ण कदम है, जिसमें सुविधा, सुरक्षा और दक्षता का संयोजन किया गया है।