नई दिल्ली: कांग्रेस नेता और लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल की नागरिकता विवाद पर इलाहाबाद हाई कोर्ट की लखनऊ पीठ ने नागरिकता कानून-1955 के तहत दायर शिकायत पर केंद्र सरकार से कार्रवाई का ब्योरा मांगा है. गांधी हैं मामले की अगली सुनवाई 30 सितंबर को होगी.
यह आदेश न्यायमूर्ति राजन रॉय और न्यायमूर्ति ओम प्रकाश शुक्ला की पीठ ने कर्नाटक भाजपा कार्यकर्ता एस के खिलाफ पारित किया। विग्नेश शिशिर की याचिका पर पारित किया गया. जुलाई माह में कोर्ट ने उक्त याचिकाकर्ता की याचिका यह कहते हुए खारिज कर दी थी कि वह चाहे तो नागरिकता कानून के तहत सक्षम प्राधिकारी से शिकायत कर सकता है.
एक ब्रिटिश नागरिक ने राहुल गांधी को बताया
याचिकाकर्ता की ओर से दलील दी गई कि उनके पास ब्रिटिश सरकार के कई दस्तावेज और कुछ ई-मेल हैं जो साबित करते हैं कि राहुल गांधी ब्रिटिश नागरिक हैं. इसके चलते वह चुनाव लड़ने के लिए अयोग्य हैं और लोकसभा सदस्य का पद नहीं संभाल सकते.
सी.बी.आई से मामला दर्ज करने का अनुरोध
याचिका में राहुल गांधी के पास दोहरी नागरिकता रखना भारतीय न्यायपालिका संहिता और पासपोर्ट अधिनियम के तहत अपराध है और मामला दर्ज करने और सीबीआई जांच का आदेश देने की भी मांग की गई है। याचिकाकर्ता का कहना है कि वह दोहरी नागरिकता के संबंध में दो बार सक्षम प्राधिकारी को शिकायत भेज चुका है, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं होने पर अब यह याचिका दाखिल की जा रही है.
पीठ ने कहा कि केंद्र सरकार के डिप्टी सॉलिसिटर जनरल एसबी पांडे इस तथ्य की जानकारी दें कि क्या याचिकाकर्ता की शिकायतें सक्षम प्राधिकारी को मिली हैं और यदि हां, तो शिकायतों पर क्या कार्रवाई की जा रही है?