जनकल्याणकारी योजनाओं के क्रियान्वयन में सरपंच अहम कड़ी : मुख्यमंत्री

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जयपुर, 20 जुलाई (हि.स.)। मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने कहा कि सरपंच शासन की सबसे छोटी किंतु सबसे महत्वपूर्ण इकाई होता है। केंद्र और राज्य सरकार की जनकल्याणकारी योजनाओं को सरपंच ही धरातल पर उतारता हैं। सरपंच पूरे गांव का प्रतिनिधि होता है इसलिए उसे भेदभाव किए बिना दृढ़ इच्छा शक्ति के साथ गांव के विकास के लिए कार्य कराने चाहिए।

शर्मा शनिवार को राजस्थान इंटरनेशनल सेंटर (आरआईसी) में यशस्वी सरपंच राज्य स्तरीय सम्मान समारोह को संबोधित कर रहे थे। इस अवसर पर उन्होंने गांवों के विकास के लिए उल्लेखनीय कार्य करने वाले 20 सरपंचों को सम्मानित किया। उन्होंने कहा कि सरपंचों को अपनी ग्राम पंचायतों के आय के स्रोत बढ़ाने के प्रयास करने चाहिए जिससे वे केंद्र और राज्य सरकार से मिलने वाली निधि के अलावा अपने स्तर पर भी विकास कार्य करवा सकें। गांवों में पानी, सड़क, बिजली, चिकित्सा, शिक्षा जैसी मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध होंगी तो गांवों से पलायन को रोका जा सकता है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि राजस्थान में पंचायतीराज का ढांचा बहुत विस्तृत और सुदृढ़ है। राज्य में 11 हजार से अधिक ग्राम पंचायतों के माध्यम से ग्रामीण क्षेत्र के विकास को गति दी जा रही है। हमारी सरकार पंचायतीराज व्यवस्था को मजबूत करने तथा गांवों के सर्वांगीण विकास पर पूरा जोर दे रही है। उन्होंने सरपंचों से आह्वान किया कि बिना किसी दबाव में आए पूर्ण निष्ठा से अपनी ग्राम पंचायत के विकास के लिए जुटे रहें। कार्यक्रम में विभिन्न ग्राम पंचायतों के सरपंच, जनप्रतिनिधि, वरिष्ठ पत्रकारों सहित बड़ी संख्या में आमजन उपस्थित रहे।