कोलकाता, 25 मई (हि.स.)। पश्चिम बंगाल में शनिवार को छठे चरण के मतदान वाले आठ लोकसभा क्षेत्रों में शाम पांच बजे तक 77.99 प्रतिशत मतदान हुआ। राज्य के मुख्य चुनाव अधिकारी के कार्यालय ने यह जानकारी दी। इसके साथ ही 79 उम्मीदवारों की किस्मत ईवीएम में कैद हो गई है।
तमलुक, कांथी, घाटाल, झाड़ग्राम, मेदिनीपुर, पुरुलिया, बांकुड़ा और बिष्णुपुर निर्वाचन क्षेत्रों में सुबह सात बजे मतदान शुरू हुआ। यह शाम छह बजे तक जारी रहा।
बिष्णुपुर (एससी) में सबसे अधिक 81.47 प्रतिशत मतदान हुआ, इसके बाद तमलुक में 79.79 प्रतिशत, झाड़ग्राम (एसटी) में 79.68 प्रतिशत, घटाल में 78.92 प्रतिशत, मेदिनीपुर में 77.57 प्रतिशत, बांकुरा में 76.79 प्रतिशत, कांथी में 75.66 प्रतिशत और पुरुलिया में 74.09 प्रतिशत मतदान हुआ है। सारा दिन मेदनीपुर, तमलुक, घटाल और सबंग में हिंसा विरोध प्रदर्शन आगजनी होती रही। तमलुक में भाजपा उम्मीदवार और कलकत्ता हाई कोर्ट के पूर्व जज अभिजीत गांगुली को घेरकर तृणमूल कार्यकर्ताओं ने विरोध प्रदर्शन किया। घटाल से भाजपा उम्मीदवार हिरण चटर्जी को भी घेरकर तृणमूल के लोगों ने विरोध प्रदर्शन किया। सबंग में भी तनाव का माहौल रहा। सत्तारूढ़ पार्टी तृणमूल कांग्रेस के दो कार्यकर्ताओं की हत्या भी चुनाव के पहले हो गई। बावजूद इसके चुनाव आयोग ने कहा है कि बाकी सभी मतदान केंद्रों के अगर आंकड़े को देखें तो छुटपुट हिंसा के बावजूद शांतिपूर्वक तरीके से वोटिंग संपन्न हुई है।
79 उम्मीदवारों में सबसे ज्यादा बांकुड़ा और झाड़ग्राम से 13-13, इसके बाद पुरुलिया से 12, मेदिनीपुर, कांथी और तमलुक से नौ-नौ तथा घाटाल और विष्णुपुर से सात-सात उम्मीदवार चुनावी मैदान में हैं।
राज्य के मुख्य चुनाव अधिकारी के कार्यालय के अनुसार, पश्चिम बंगाल में छठे चरण के लिए सीएपीएफ की कुल 1,020 कंपनियां तैनात रहीं। इनमें से 919 को मतदान केंद्रों पर तैनात किया गया था। शेष 101 कंपनियों में से अधिकांश को त्वरित प्रतिक्रिया टीमों के हिस्से के रूप में तैनात किया गया और एक छोटा हिस्सा रिजर्व में रखा गया था।
पिछले लोकसभा चुनाव में इन आठ सीट में से पांच पर भाजपा ने जीत दर्ज की थी जबकि तीन सीट पर तृणमूल कांग्रेस ने जीत हासिल की थी।
कांथी और तमलुक में सीधा मुकाबला होने की संभावना है। शुभेंदु के भाई सौमेंदु अधिकारी कांथी लोकसभा सीट से भाजपा के टिकट पर चुनाव लड़ रहे हैं। तामलुक में, कलकत्ता उच्च न्यायालय के पूर्व न्यायाधीश एवं भाजपा उम्मीदवार अभिजीत गांगुली तृणमूल कांग्रेस के युवा नेता देबांग्शु भट्टाचार्य के खिलाफ चुनाव मैदान में हैं।
पिछले विधानसभा चुनाव में तृणमूल ने पूर्वी मेदिनीपुर जिले के दोनों लोकसभा क्षेत्रों के तहत आने वाली 15 विधानसभा सीट में से आठ पर जीत दर्ज की थी। झाड़ग्राम, पुरुलिया और मेदिनीपुर निर्वाचन क्षेत्रों में पिछले साल हुए विरोध प्रदर्शनों के बाद भाजपा मुश्किल हालात का सामना कर रही है। इन तीन सीटों पर उम्मीदवारों की हार-जीत में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने वाले कुर्मी समुदाय के सदस्यों ने अनुसूचित जनजाति (एसटी) का दर्जा दिये जाने की मांग करते हुए प्रदर्शन एवं नाकेबंदी की थी।