अजमेर, 16 अप्रैल(हि.स)। अजमेर स्थित ख्वाजा मोईनुद्दीन हसन चिश्ती की दरगाह के बाहर मंगलवार को बड़ा हादसा होने से टल गया। ख्वाजा साहब के पीरो मुर्शिद हजरत ख्वाजा उस्मान हारवनी का दो दिवसीय उर्स के मौके पर छठी शरीफ होने से जायरीन की संख्या बहुत ज्यादा रही। दरगाह बाजार में तिल रखने को भी जगह उपलब्ध नहीं ऐसी स्थिति देखी गई। दरगाह क्षेत्र में चारों तरफ भीड़ भाड़ नजर आई। आज छठी की दुआ के बाद भीड़ बढ़ जाने के कारण भगदड़ की स्थिति उत्पन्न हो गई। महिला वृद्ध जायरीन भीड़ में दबने लगीं। गनीमत रही कि कोई अनहोनी नहीं हुई । ज़ायरीन अपने छोटे बच्चों को कंधों पर उठाकर चलते दिखाई दिए। भीड़ बढ़ने के कारण छोटे बच्चे भीड़ में दब ना जाए जिसके कारण परिजनों ने उन्हें अपने हाथों से बच्चों के हवा में ऊपर उठा लिया। भीड़ में आवारा पशु भी घुस गए । बड़ी मुश्किल से पुलिस ने आवारा पशुओं को भीड़ से दूर किया।
दरगाह के ख़ादिम सैयद नफ़ीस चिश्ती ने जिला प्रशासन, पुलिस प्रशासन पर जायरीन की आवक को ध्यान में रखकर इंतजाम व सुविधाएं बेहतर बनाने के प्रयास करने की अपेक्षा की है।
दरग़ाह के ख़ादिम फ़रीद महाराज ने बताया कि दिन प्रतिदिन जायरीन का ख्वाजा साहब की दरगाह में आना-जाना लगा रहता है। यहां अव्यवस्थाओं का अंबार है। यहां अंजुमन सैयदजादगान कमेटी ,दरगाह कमेटी व शेखजादगान कमेटी होने के बाद भी जायरीन को पूरे दरगाह क्षेत्र में हर तरह की परेशानी का सामना करना पड़ता है।
इससे पूर्व ख्वाजा साहब के पीरो मुर्शिद हजरत ख्वाजा उस्मान हारवनी का दो दिवसीय उर्स सोमवार रात से शुरू हुआ। उर्स में शिरकत के लिए बड़ी संख्या में अकीदतमंद पहुंचे। देर रात तक सजी महफिल में कव्वालों ने सूफियाना कलाम पेश किए। आज मंगलवार को कुल की रस्म अदा के बाद उर्स का समापन हुआ। खुद्दाम ए ख्वाजा द्वारा छठी की फातिहा दिलाई जाएगी और लँगर बाटा गया