प्रशांत किशोर की भविष्यवाणी ने बढ़ाई ‘INDIA’ ब्लॉक की टेंशन, बीजेपी को लेकर कही बड़ी बात!

लोकसभा चुनाव 2024: लोकसभा चुनाव की तैयारियों के बीच विपक्ष केंद्र की मोदी सरकार पर हमलावर है. इस चुनाव में बीजेपी का लक्ष्य 400 सीटें जीतने का है. इसे लेकर पार्टी की नजर दक्षिणी राज्य के वोट बैंक पर है. इस बीच चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर ने दावा किया है कि ‘सत्तारूढ़ बीजेपी को दक्षिण और पूर्वी भारत में भारी फायदा मिलने वाला है. इन इलाकों में बीजेपी का वोट बैंक बढ़ेगा.’

‘बंगाल में भी बीजेपी बनेगी नंबर 1 पार्टी’

समाचार एजेंसी पीटीआई की रिपोर्ट के मुताबिक, प्रशांत किशोर ने कहा, ‘विपक्ष के पास बीजेपी के रथ को रोकने के कई मौके थे, लेकिन गलत फैसलों के कारण उन्होंने मौके गंवा दिए. तेलंगाना में बीजेपी पहली या दूसरी बड़ी पार्टी बनकर उभरेगी, जो बड़ी बात है. वह (भाजपा) ओडिशा में अधिकतम सीटें जीतेगी। पश्चिम बंगाल बीजेपी नंबर वन पार्टी बनने जा रही है. तमिलनाडु में बीजेपी का वोट शेयर दोहरे अंक तक पहुंच सकता है. तेलंगाना, ओडिशा, पश्चिम बंगाल, तमिलनाडु, आंध्र प्रदेश, बिहार और केरल में कुल 204 लोकसभा सीटें हैं, लेकिन बीजेपी इन इलाकों में 50 सीटें भी नहीं जीत पाई. 2014 के लोकसभा चुनाव में बीजेपी ने इन इलाकों में 29 सीटें जीती थीं, जबकि 2019 में 47 सीटें जीतीं. इस चुनाव में बीजेपी 370 सीटें जीतेगी इसकी संभावना नहीं है, चुनाव के लिए सिर्फ एक ही लक्ष्य तय किया गया है.’

जगन मोहन रेड्डी की वापसी मुश्किल!

आंध्र प्रदेश में लोकसभा चुनाव के साथ-साथ विधानसभा चुनाव भी होने वाले हैं. इस बारे में प्रशांत किशोर ने कहा, ‘जगन मोहन रेड्डी के लिए वापसी मुश्किल होगी. उन्होंने युवाओं को रोजगार देने या राज्य की रुकी हुई वृद्धि को बढ़ावा देने के लिए कुछ नहीं किया। प्रशांत किशोर ने 2019 में जगन मोहन रेड्डी के लिए काम किया, जब उनकी वाईएसआरसी ने तेलुगु देशम पार्टी (टीडीपी) को हराया, जो अब बीजेपी की सहयोगी है।’

बीजेपी पिछले कुछ सालों से दक्षिण और पूर्वी भारत में अपनी पैठ बना रही है. प्रधानमंत्री मोदी और गृह मंत्री अमित शाह के साथ-साथ पार्टी के दिग्गज नेता लगातार इन राज्यों का दौरा कर रहे हैं. वहीं, राज्यों में विपक्ष का कोई बड़ा चेहरा नजर नहीं आया है. पिछले पांच साल में प्रधानमंत्री मोदी ने राहुल गांधी, सोनिया गांधी या विपक्षी नेताओं से ज्यादा तमिलनाडु का दौरा किया है.

‘अगर 10 साल में सफलता न मिले तो ब्रेक ले लें’

प्रशांत किशोर ने कहा कि राहुल गांधी पिछले 10 साल से पार्टी के लिए नतीजे लाने में नाकाम साबित हुए हैं. लेकिन, वे न तो दूसरों को मौका दे रहे हैं और न ही पीछे हट रहे हैं. जब आप पिछले 10 वर्षों से बिना किसी सफलता के एक ही काम कर रहे हैं, तो ब्रेक लेने में कोई बुराई नहीं है। उन्हें अगले पांच साल के लिए यह काम किसी और को दे देना चाहिए.