प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सोमवार को गुरुग्राम में होने वाले द्वारका एक्सप्रेसवे कार्यक्रम के लिए रोडवेज की 100 बसें हिसार से गुरुग्राम के लिए रवाना की गई हैं. इन बसों को लोकल रूट से डायवर्ट किया गया है. इनमें से 70 बसें हिसार से और 30 बसें हांसी से भेजी गई हैं। इससे लोकल रूटों पर यात्रियों को परेशानी का सामना करना पड़ेगा।
भूना रूट, आदमपुर, सिवानी, राजगढ़, लाडवा, डबरा व अन्य रूटों से रोडवेज बसें हटा ली गई हैं। इनमें ग्रामीण रूटों पर रात्रिकालीन बसें भी शामिल हैं। रोडवेज संयुक्त कर्मचारी संघ ने प्रदेश भर के डिपो से बसें गुरुग्राम भेजने को सरकारी मशीनरी का दुरुपयोग बताया है। संस्था के मुताबिक बसें एक जगह भेजने से विभाग को घाटा हो रहा है। इसके साथ ही बसों की कमी के कारण विभिन्न रूटों के यात्रियों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। हरियाणा रोडवेज संयुक्त कर्मचारी संघ के हिसार डिपो प्रधान अजय दूहन और संगठन सचिव दर्शन जांगड़ा ने कहा कि कोई भी सरकारी कार्यक्रम हो, रैली हो या कुछ और, उस कार्यक्रम में रोडवेज की बसें भेजी जाती हैं। इससे विभागीय क्षति होगी और प्रभावित क्षेत्र के यात्रियों को असुविधा होगी. यह सब जानते हुए भी रोडवेज बसों को जबरन उनके मूल रूट से हटाकर सरकारी कार्यक्रम वाले गंतव्यों की ओर भेजा जाता है। इससे यात्री तो परेशान हैं ही, विभिन्न शिक्षण संस्थानों में जाने वाले विद्यार्थी भी बसों की कमी के कारण परेशान हैं।
सरकार बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ का दावा तो करती है, लेकिन बेटियों की शिक्षा पर पड़ रहे नकारात्मक असर पर फिलहाल सरकार का कोई ध्यान नहीं है . दूहन अजय दूहन और दर्शन जांगड़ा ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारका एक्सप्रेस-वे का उद्घाटन करने आ रहे हैं। इसके लिए प्रदेश भर से 1300 बसें भेजी जानी हैं। इससे पहले भी पीएम की पंजाब और पंजाब की रेवाड़ी रैली के लिए करीब 1470 बसें भेजी गई थीं. कंडक्टरों और क्लर्कों का पे-ग्रेड बढ़ाने, 2016 के लिए ड्राइवर तय करने, 1993 से 2002 तक काम कर रहे ड्राइवर और कंडक्टरों को ठीक करने, ग्रुप डी के कर्मचारियों को सामान्य कैडर से बाहर करने और अर्जित अवकाश की कटौती के संबंध में पांच राउंड की मांग को लेकर परिवहन विभाग के साथ रोडवेज संयुक्त मोर्चा की बैठक हुई। उच्च अधिकारियों और परिवहन मंत्री से बात हो गई है।