डायलिसिस मरीजों के लिए डाइट: मिथक बनाम सच्चाई

डायलिसिस मरीजों के लिए डाइट: मिथक बनाम सच्चाई
डायलिसिस मरीजों के लिए डाइट: मिथक बनाम सच्चाई

डायलिसिस पर रहने वाले मरीजों के लिए सही खानपान उनकी सेहत और जीवनशैली में अहम भूमिका निभाता है। लेकिन इस विषय में भ्रम और गलत धारणाएं बहुत आम हैं। बाज़ार में और सोशल मीडिया पर डाइट को लेकर कई मिथक फैले हुए हैं, जिनसे मरीजों का भ्रमित होना स्वाभाविक है। ऐसे में यह समझना ज़रूरी है कि कौन-सी बातें सही हैं और कौन-सी केवल अफवाह। आइए जानें मशहूर नेफ्रोलॉजिस्ट डॉ. सौरभ पोखरियाल की सलाह के अनुसार कुछ सामान्य मिथकों और उनकी सच्चाइयों के बारे में।

मिथ 1: फलों और सब्जियों से पूरी तरह परहेज़ करना चाहिए

सच्चाई:
कुछ फल और सब्जियां, खासकर पोटेशियम से भरपूर, सीमित मात्रा में खानी चाहिए, लेकिन इनसे पूरी तरह दूरी बनाना जरूरी नहीं है। कम पोटेशियम वाले विकल्प जैसे सेब, जामुन, फूलगोभी आदि को पोर्शन कंट्रोल के साथ खाया जा सकता है। कुछ सब्जियों को पानी में भिगोकर पकाने से उनका पोटेशियम स्तर कम हो सकता है, जिससे वे सुरक्षित हो जाती हैं।

मिथ 2: प्रोटीन का सेवन कम कर देना चाहिए

सच्चाई:
डायलिसिस के दौरान शरीर से प्रोटीन बाहर निकल सकता है, इसलिए उसे संतुलित मात्रा में लेना आवश्यक होता है। अंडा, चिकन और मछली जैसे उच्च गुणवत्ता वाले प्रोटीन स्रोत मांसपेशियों की मजबूती और ऊतकों की मरम्मत में मदद करते हैं। ज़रूरत है सिर्फ मात्रा और समय का संतुलन बनाए रखने की, जो एक अनुभवी डाइटीशियन की मदद से बेहतर तरीके से किया जा सकता है।

मिथ 3: पैकेज्ड फूड सुरक्षित होते हैं

सच्चाई:
बहुत से प्रोसेस्ड या पैकेज्ड खाद्य पदार्थों में सोडियम, फास्फोरस और पोटेशियम जैसे तत्व छिपे होते हैं, जो डायलिसिस मरीजों के लिए नुकसानदेह हो सकते हैं। इनसे रक्तचाप बढ़ सकता है और दिल की बीमारियों का खतरा भी बढ़ सकता है। इसलिए ताज़े और घरेलू बने भोजन को प्राथमिकता देना बेहतर होता है।

मिथ 4: डेयरी उत्पादों को पूरी तरह छोड़ देना चाहिए

सच्चाई:
हालांकि डेयरी प्रोडक्ट्स में फास्फोरस अधिक मात्रा में होता है, लेकिन कुछ सीमित और कम फास्फोरस वाले विकल्प जैसे बिना मीठा बादाम दूध या थोड़ी मात्रा में दही डायलिसिस के अनुकूल डाइट में शामिल किए जा सकते हैं। ज़रूरत है मात्रा पर ध्यान देने की।

मिथ 5: हाइड्रेशन पर ज्यादा ध्यान देने की जरूरत नहीं होती

सच्चाई:
डायलिसिस पर रहने वाले मरीजों को पानी की मात्रा को जरूर नियंत्रित रखना चाहिए, लेकिन इसका मतलब यह नहीं है कि शरीर को हाइड्रेटेड रखना छोड़ दिया जाए। मापी हुई सीमित मात्रा में पानी, बर्फ के टुकड़े या जमे हुए फलों के टुकड़े शरीर को हाइड्रेट रखने में मदद कर सकते हैं, वह भी बिना अधिक बोझ डाले।