इस साल 25 मई को एक दुर्लभ गुरु पुष्य योग बन रहा है। ऐसा कम ही होता है क्योंकि मई के बाद फिर से दिसंबर में ऐसा योग बनेगा। 25 मई को गुरु पुष्य योग सहित 5 शुभ योग बन रहे हैं। इस दिन वृष योग, सर्वार्थ सिद्धि योग, अमृत सिद्धि योग और रवि योग भी बन रहे हैं। 25 मई को आप जो भी शुभ कार्य करेंगे वह कई गुना बढ़ जाएगा। इस दिन आप विवाह को छोड़कर सभी शुभ कार्य कर सकते हैं। आइए जानते हैं गुरु पुष्य योग के शुभ मुहूर्त, 5 शुभ योगों और खरीदने वाली चीजों के बारे में जिससे भाग्य और धन में वृद्धि होती है।
गुरु पुष्य योग कब बनता है?
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार यह दुर्लभ गुरु पुष्य योग तब बनता है जब पुष्य नक्षत्र गुरुवार के दिन पड़ता है। गुरु पुष्य योग को गुरु पुष्य नक्षत्र योग भी कहा जाता है। यह बहुत ही शुभ और फलदायी होता है। अगर आपको साल भर में किसी शुभ कार्य के लिए कोई दिन नहीं मिलता है तो आप इसे गुरु पुष्य योग के दिन कर सकते हैं।
इष्टदेव की पूजा का दोहरा फल
इस साल जेठ सूद छठ की तिथि पर पांच योगों का योग बन रहा है। मुख्य रूप से इस साल का दूसरा गुरु पुष्य योग सुबह सूर्योदय से शुरू होगा। साथ ही अमृतसिद्धि, सर्वार्थ सिद्धि, रवि और वृष्टि योग भी शामिल हैं। इस शुभ दिन पर पूजा, पाठ और दान का विशेष महत्व है। इस दिन विधि-विधान से की गई पूजा का कई गुना अधिक लाभ होता है। अत: इस दिन नगरवासी अपने इष्टदेव की पूजा करेंगे।
इस साल जेठ सूद की छठे दिन गुरु पुष्य योग है
भारत में बड़ी संख्या में विभिन्न धर्मों और संप्रदायों के लोग रहते हैं। हम हर त्योहार को सभी के साथ मिलकर उत्साह के साथ मनाते हैं। हिन्दू समाज में धार्मिक मान्यता के अनुसार विभिन्न त्यौहार मनाए जाते हैं। विभिन्न तिथियों के साथ-साथ योग की भी महिमा की गई है। ज्योतिष शास्त्र में भी गुरु पुष्य योग का बहुत महत्व है। इस साल जेठ सूद छठ के दिन गुरु पुष्य योग बनने जा रहा है। जिससे अन्य 4 योग भी बन रहे हैं।
गुरु पुष्य योग कब और कैसे बनता है?
हिन्दू पंचांग के अनुसार अलग-अलग नक्षत्रों की महिमा की जाती है। गुरुवार के दिन पड़ने वाले पुष्य नक्षत्र के योग से गुरु पुष्य नक्षत्र योग बनता है। गुरु पुष्य योग पूजा, पाठ और जप सहित भगवान की पूजा के लिए सबसे अच्छा माना जाता है। इस दिन भगवान की की गई पूजा का उत्तम फल मिलता है।