
News India Live, Digital Desk: Scientists Revealed the Secret: अक्सर हम सब यही सोचते हैं कि बस दिन में कभी भी थोड़ी देर के लिए धूप में खड़े हो जाएं, तो हमें पर्याप्त विटामिन डी मिल जाएगा। पर असल बात कुछ और है! विज्ञान और विशेषज्ञ कहते हैं कि सूर्य की सीधी किरणें भले ही आपको विटामिन डी देती हैं, लेकिन हर समय की धूप इसके लिए सही नहीं होती और इसका पूरा फायदा उठाने का एक ‘वैज्ञानिक’ तरीका होता है। अगर आपको विटामिन डी की कमी है या आप इससे बचना चाहते हैं, तो यह जानकारी आपके लिए बेहद ज़रूरी है!
दरअसल, विटामिन डी शरीर में सूर्य की अल्ट्रावॉयलेट-बी (UVB) किरणों के संपर्क में आने से बनता है, न कि हर तरह की धूप से। इन UVB किरणों की तीव्रता दिन के अलग-अलग समय, मौसम, आपकी लोकेशन और यहां तक कि बादलों व प्रदूषण पर भी निर्भर करती है। तो आइए जानते हैं वो सही तरीका जिससे आप धूप से सबसे ज़्यादा विटामिन डी हासिल कर सकते हैं:
1. सही समय का खेल: सुबह की ‘अमृत वेला’ से बचें
आपको ये जानकर हैरानी होगी कि डॉक्टर्स और हेल्थ एक्सपर्ट्स बताते हैं कि विटामिन डी के लिए सुबह की हलकी धूप नहीं, बल्कि सुबह 10 बजे से दोपहर 3 बजे तक का समय सबसे बेहतरीन होता है! जी हाँ, क्योंकि इस दौरान ही UVB किरणें धरती तक ज़्यादा प्रभावशाली ढंग से पहुंचती हैं, यानी जब ‘यूवी इंडेक्स’ (UV Index) सबसे ज़्यादा होता है। यह वो समय है जब विटामिन डी सबसे ज़्यादा बनता है।
2. कैसे लें धूप? कपड़ों और शीशे का रखें ख्याल!
विटामिन डी सीधे त्वचा के संपर्क में आने से बनता है। केवल चेहरे पर धूप लेने से काम नहीं चलेगा! आपके शरीर के बड़े हिस्से, जैसे हाथ, पैर, पीठ और पेट पर सीधे सूरज की किरणें पड़नी चाहिए। अगर आपने कपड़े पहने हुए हैं या आप शीशे के पीछे बैठे हैं (जैसे खिड़की के पास), तो ये UVB किरणों को ब्लॉक कर देते हैं और आपको विटामिन डी नहीं मिलता। सबसे ज़रूरी बात – अगर आप SPF 15 से ज़्यादा वाला सनस्क्रीन लगाते हैं, तो वह भी UVB को 95% तक ब्लॉक कर देता है। इसलिए, विटामिन डी के लिए बिना सनस्क्रीन के धूप लेनी होगी (कम समय के लिए)।
3. स्किन कलर और लोकेशन भी है ज़रूरी!
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गोरी या हल्के रंग की त्वचा: अगर आपकी त्वचा गोरी है, तो आपको लगभग 10 से 20 मिनट तक धूप में रहना पर्याप्त होता है।
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गेहूंआ या सांवला रंग: इन्हें थोड़ी ज़्यादा देर तक धूप में रहना पड़ सकता है (शायद 20-30 मिनट तक), क्योंकि त्वचा का मेलेनिन (melanin) UVB को कुछ हद तक ब्लॉक करता है।
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बादल और प्रदूषण: घने बादल या शहरों का भारी प्रदूषण UVB किरणों को धरती तक आने से रोकते हैं, जिससे आपको धूप से मिलने वाला विटामिन डी कम हो जाता है।
4. विटामिन डी की कमी के संकेत और दूसरे स्रोत:
अगर आपको अक्सर कमज़ोरी, मांसपेशियों में दर्द, हड्डियों में दर्द या कमजोरी, या बार-बार बीमार पड़ना जैसे लक्षण दिखें तो ये विटामिन डी की कमी का संकेत हो सकते हैं।
धूप के अलावा आप विटामिन डी कुछ ख़ास खाद्य पदार्थों से भी पा सकते हैं, जैसे: फैटी फिश (सैल्मन, मैकेरल), फोर्टिफाइड दूध, संतरे का रस और अंडे की ज़र्दी। अगर कमी ज़्यादा है तो डॉक्टर की सलाह पर सप्लीमेंट भी ले सकते हैं।
तो, अगली बार जब धूप में जाएं, तो ये ज़रूरी बातें याद रखें ताकि आप अपने शरीर को धूप से मिलने वाला यह सबसे अहम विटामिन पूरी मात्रा में मिल सके!