रंगों के त्योहार होली को लेकर देशभर में उत्साह का माहौल है। ऑनलाइन मार्केटप्लेस से लेकर मॉल और बाज़ार तक सब कुछ इसके लिए सुसज्जित हैं। देशभर में मनाए जाने वाले इस त्योहार से बिजनेस को भी काफी फायदा होने वाला है. उद्योगपतियों के एक संगठन का मानना है कि इस साल होली पर 50 हजार करोड़ रुपये से ज्यादा का कारोबार हो सकता है.
इतना व्यापार किया जा सकता है
खुदरा व्यापारियों के संगठन कन्फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (CAIT) के मुताबिक, इस साल होली के लिए बाजार का माहौल बेहतरीन रहा है। इसके चलते इस साल होली के त्योहारी सीजन में देशभर में कारोबार में करीब 50 फीसदी की बढ़ोतरी देखने को मिल सकती है। होली के त्योहार पर देशभर में 50 हजार करोड़ से ज्यादा का कारोबार हो सकता है. अकेले दिल्ली में 5 हजार करोड़ रुपये से ज्यादा का कारोबार होने की उम्मीद है.
चीनी वस्तुओं का बहिष्कार करें
इस बार होली में एक और खास बात देखने को मिल रही है कि बाजार में चाइनीज आइटमों का बहिष्कार किया जा रहा है. कैट का दावा है कि पिछले साल की तरह इस साल भी व्यापारी और आम खरीदार चीनी सामान का पूरी तरह से बहिष्कार कर रहे हैं. कैट का कहना है कि आमतौर पर देश में होली से जुड़े सामान का आयात करीब 10 हजार करोड़ रुपये का होता है, जो इस बार बहुत ही नगण्य रहा.
इन उत्पादों की मांग बढ़ी है
कैट के राष्ट्रीय महासचिव प्रवीण खंडेलवाल ने कहा कि इस बार होली के त्योहार पर व्यापारी और उपभोक्ता चीन में बनी वस्तुओं का बहिष्कार कर रहे हैं. बाजार में केवल भारत में बने हर्बल रंग और गुलाल, पिचकारी, गुब्बारे, चंदन, पूजा सामग्री, वस्त्र और अन्य वस्तुएं बहुतायत में बिकती हैं। मिठाई, सूखे मेवे, उपहार आइटम, फूल और फल, कपड़े, फर्निशिंग फैब्रिक, किराने का सामान, एफएमसीजी उत्पाद, उपभोक्ता टिकाऊ वस्तुएं आदि सहित अन्य उत्पादों की बाजार में भारी मांग है।
इन पिचकारियों की डिमांड आ रही है
कैट के राष्ट्रीय महासचिव ने कहा कि इस बार बाजार में तरह-तरह की पिचकारी, गुब्बारे और अन्य आकर्षक सामान आये हैं. प्रेशर स्प्रे 100 रुपये से 350 रुपये तक उपलब्ध हैं। टैंक के रूप में पिचकारी 100 से 400 रुपये तक उपलब्ध है। इसके अलावा फैंसी पाइप भी बाजार में लोकप्रिय हो गए हैं। बच्चों को स्पाइडर मैन, छोटा भीम आदि पसंद आ रहे हैं, वहीं गुलाल पिचकारी की मांग बढ़ रही है।