जोधपुर, 23 नवम्बर (हि.स.)। जिला उपभोक्ता आयोग जोधपुर द्वितीय के अध्यक्ष मलार खान मंगलिया और सदस्य बलवीर खुडखुडिया ने दो अधिवक्ताओं की ओर से दायर अलग अलग परिवाद मंजूर कर राहत दिलाते हुए एक प्रकरण में इंडियन बैंक को प्रार्थी के बचत खाते से अनाधिकृत व्यक्ति द्वारा 48 हजार निकालने पर राशि मय ब्याज रिफंड करने का आदेश दिया है, वहीं दूसरे मामले में लिभेर एप्लायंसेज इंडिया को निर्देश दिया है कि खराब फ्रिज की कीमत 59 हजार 500 रुपए मय ब्याज लौटाए। दोनों में ही पांच- पांच हजार रुपए हर्जाना भी लगाया है।
सुनील भंडारी ने परिवाद दायर कर कहा कि उनके बचत खाते से चौबीस चौबीस हजार रूपए निकासी का संदेश गत वर्ष 9 जून को इंडियन बैंक से प्राप्त होने पर उन्होंने साइबर पुलिस थाने में रपट दर्ज करवाई और बैंक को भी सूचित कर दिया कि यह राशि किसी अनाधिकृत व्यक्ति द्वारा निकाली गई है। साइबर थाने के निर्देश पर बैंक ने 48 हजार रुपए होल्ड कर 27 जून को परिवादी के बैंक खाते में जमा कर दी और 30 जून को यह राशि बिना बताए ही कम कर दी। बैंक की ओर से कहा गया कि राशि निकासी में उनका कोई दोष नहीं है।
जिला उपभोक्ता आयोग ने परिवाद मंजूर करते हुए कहा कि बैंक को जानकारी होने के बावजूद उन्होंने न तो परिवादी को और न ही पुलिस को बताया कि राशि किसके खाते में गई थी सो बैंक की सेवा में कमी और सेवा दोष प्रमाणित है।
दूसरे मामले में विनीत दवे ने परिवाद दायर कर कहा कि उन्होंने 8 जुलाई 2022 को 472 लीटर का 59 हजार 500 रुपए में लिभेर कंपनी का फ्रिज खरीदा,लेकिन वारंटी अवधि में ही फ्रिज खराब होने से दुर्गंध आने लगी और निर्माता कंपनी की ओर से कई बार पार्ट और यहां तक कि कंप्रेशर भी बदला,लेकिन फ्रिज ठीक नहीं होने से उन्हें दूसरा फ्रिज खरीदना पड़ा। जिला उपभोक्ता आयोग ने परिवाद मंजूर करते हुए कहा कि लिभेर एप्लायंसेज इंडिया ने परिवादी को दोष से ग्रसित फ्रिज बेचकर अनुचित व्यापार व्यवहार किया है। दोनों परिवादी की ओर से अधिवक्ता अनिल भंडारी ने बहस की।